सितंबर की ऊंचाईयों से 15% गिरावट के बाद भारतीय शेयर बाजारों ने मार्च 2025 में जबरदस्त रिकवरी दिखाई। BSE Sensex ने 5.76% और NSE Nifty ने 6.3% की बढ़त दर्ज की। छोटे और मझोले शेयरों में भी जोरदार उछाल देखने को मिला — Nifty MidCap 100 में 7.84% और Nifty SmallCap 100 में 9.43% का इज़ाफा हुआ।
विदेशी निवेशकों ने दिखाई दिलचस्पी
इस रिकवरी के पीछे सबसे बड़ी वजह विदेशी निवेशकों (FII) की वापसी रही। मार्च के दूसरे हिस्से में FIIs ने भारतीय शेयरों में ज़बरदस्त खरीदारी की और कुल $3.6 बिलियन (करीब ₹30,000 करोड़) का निवेश किया।
JM Financial की रिपोर्ट के अनुसार, सबसे ज़्यादा पैसा बैंकिंग, फाइनेंशियल सर्विसेज और इंश्योरेंस (BFSI) सेक्टर में आया — कुल $1.7 बिलियन। इसके बाद टेलीकॉम सेक्टर में $360 मिलियन और मेटल सेक्टर में $219 मिलियन का निवेश हुआ।
BFSI सेक्टर बना FII का फेवरिट
WealthMills Securities के डायरेक्टर क्रांति बथिनी का कहना है कि पिछले एक साल से BFSI सेक्टर में खास हलचल नहीं थी, जिससे इसकी वैल्यूएशन सस्ती हो गई थी। यही वजह है कि FIIs को यह सेक्टर फिर से आकर्षक लगा। साथ ही, इस सेक्टर की घरेलू प्रकृति इसे अंतरराष्ट्रीय झटकों से बचाती है।
इसके अलावा, फरवरी में RBI द्वारा ब्याज दरों में कटौती की शुरुआत भी इस सेक्टर में निवेश को बढ़ावा देने वाली वजह बनी।
मार्च में Nifty Bank इंडेक्स 6.6% और Nifty Metal इंडेक्स 10.6% चढ़े। वहीं BSE Bankex में 8.55% और BSE Metal इंडेक्स में 10.07% की बढ़त दर्ज की गई। BSE टेलीकॉम इंडेक्स भी 6.48% ऊपर गया।
टेलीकॉम में Arpu बढ़ने से आया निवेश
कहां से पैसा निकाला?
JM Financial के अनुसार, FIIs ने कुछ सेक्टर्स से पैसा निकाला भी। इनमें सबसे ज़्यादा IT सेक्टर से $973 मिलियन, FMCG से $643 मिलियन, ऑयल एंड गैस से $397 मिलियन, और ऑटो सेक्टर से $327 मिलियन की बिकवाली हुई।
बालिगा के अनुसार, अमेरिका के ट्रेड टैरिफ के चलते कच्चे तेल की कीमतों में गिरावट की आशंका के कारण FIIs ने ऑयल एंड गैस सेक्टर से दूरी बनाई। वहीं, ऑटो सेक्टर में बिक्री में सुस्ती की वजह से निवेशकों ने वहां से हाथ खींचा।
FII पोर्टफोलियो में BFSI की हिस्सेदारी बढ़ी
मार्च 2025 में FIIs के कुल भारतीय पोर्टफोलियो में BFSI, IT, ऑटो, फार्मा और ऑयल एंड गैस सेक्टर की 60% हिस्सेदारी रही। BFSI की हिस्सेदारी 30.8% से बढ़कर 31.2% हो गई, जबकि फार्मा की 6.8% से 6.9% हुई। वहीं IT की हिस्सेदारी 9.9% से घटकर 9% और ऑटो की 7% से घटकर 6.7% रह गई।
आगे क्या करें निवेशक?
अम्बरीश बालिगा का मानना है कि वैश्विक अनिश्चितताओं के बीच भारत का बाजार बाकी दुनिया के मुकाबले बेहतर प्रदर्शन करेगा। क्रांति बथिनी BFSI और टेलीकॉम सेक्टर को आगे भी मज़बूत मानते हैं। उनके पसंदीदा स्टॉक्स हैं — HDFC Bank, Axis Bank, ICICI Bank, SBI, Bank of Baroda और Canara Bank।