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विदेशी जेलों में 10,152 भारतीय बंद, सरकार ने कहा- सबसे ज्यादा लोग सऊदी अरब की जेल में

मंत्रालय के पास उपलब्ध जानकारी के अनुसार, वर्तमान में विदेशी जेलों में विचाराधीन कैदियों सहित भारतीय कैदियों की संख्या 10,152 है।

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भाषा   
Last Updated- February 07, 2025 | 10:43 PM IST

सरकार ने शुक्रवार को लोक सभा को बताया कि वर्तमान में विदेशी जेलों में बंद भारतीय कैदियों की संख्या 10,152 है। विदेश राज्य मंत्री कीर्तिवर्धन सिंह ने लोक सभा में एक प्रश्न के लिखित उत्तर में इस संबंध में देश-वार डेटा साझा किया। उनके द्वारा साझा किए गए आंकड़ों में सऊदी अरब, कुवैत, संयुक्त अरब अमीरात, कतर, नेपाल, पाकिस्तान, अमेरिका, श्रीलंका, स्पेन, रूस, इजरायल, चीन, बांग्लादेश और अर्जेंटीना सहित 86 देशों में जेलों में बंद भारतीय कैदियों के आंकड़े शामिल हैं। मंत्री ने बताया कि 2,633 भारतीय कैदी सऊदी अरब की जेलों में बंद हैं और 2,518 ऐसे कैदी संयुक्त अरब अमीरात की जेलों में हैं। इन आंकड़ों के मुताबिक, नेपाल की जेलों में 1,317 भारतीय कैदी हैं, जबकि पाकिस्तान और श्रीलंका में यह संख्या क्रमशः 266 और 98 है। सिंह ने कहा, ‘मंत्रालय के पास उपलब्ध जानकारी के अनुसार, वर्तमान में विदेशी जेलों में विचाराधीन कैदियों सहित भारतीय कैदियों की संख्या 10,152 है।’

आयुष्मान भारत: 1.19 लाख करोड़ रुपये को मंजूरी

केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री जे पी नड्डा ने शुक्रवार को कहा कि बीते एक जनवरी तक आयुष्मान भारत-प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना (एबी-पीएमजेएवाई) के तहत अस्पतालों में भर्ती के 8.9 करोड़ मामलों में कुल 1.9 लाख करोड़ रुपये को मंजूरी दी गई। उन्होंने लोक सभा में एक प्रश्न के लिखित उत्तर में यह जानकारी दी। नड्डा ने कहा कि इस योजना के कार्यान्वयन में विभिन्न प्रकार की धोखाधड़ी की रोकथाम और पता लगाने के लिए कदम उठाए गए हैं। उनके अनुसार, धोखाधड़ी करने वाली संस्थाओं के खिलाफ उपयुक्त कार्रवाई की गई है, जिसमें 1,114 अस्पतालों को पैनल से हटाना, 1,504 दोषी अस्पतालों पर 122 करोड़ रुपये का जुर्माना लगाना और 549 अस्पतालों को निलंबित करना शामिल है। नड्डा ने यह भी कहा कि राष्ट्रीय स्वास्थ्य प्राधिकरण में राष्ट्रीय धोखाधड़ी रोधी इकाई (एनएएफयू) की स्थापना की गई है और यह धोखाधड़ी और दुरुपयोग से संबंधित मुद्दों की जांच करने तथा संयुक्त कार्रवाई करने के लिए राज्य धोखाधड़ी रोधी इकाइयों (एसएएफयू) के साथ निकट समन्वय में काम करती है। 

सार्वजनिक टीकाकरण में सर्वाइकल कैंसर!

केंद्रीय स्वास्थ्य राज्य मंत्री अनुप्रिया पटेल ने शुक्रवार को कहा कि सरकार सर्वाइकल कैंसर की रोकथाम वाले एचपीवी (ह्यूनम पोपिलोमा वायरस) टीके को सार्वजनिक टीकाकरण कार्यक्रम में शामिल करने को लेकर मंथन कर रही है। लोक सभा में प्रश्नकाल में लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) की शांभवी चौधरी के पूरक प्रश्न का उत्तर देते हुए अनुप्रिया पटेल ने यह जानकारी दी। उन्होंने कहा कि देश में 30 वर्ष से अधिक उम्र की महिलाओं की सर्वाइकल(गर्भाशय) कैंसर की स्क्रीनिंग की जा रही है। उन्होंने कहा, ‘सरकार एचपीवी टीके को सार्वजनिक टीकाकरण कार्यक्रम में शामिल करने को लेकर चिंतन-मंथन कर रही है। यह अभी प्रक्रिया में है। जैसे ही कुछ तय होगा, हम सदन को सूचित करेंगे।’ भाषा

First Published : February 7, 2025 | 10:40 PM IST (बिजनेस स्टैंडर्ड के स्टाफ ने इस रिपोर्ट की हेडलाइन और फोटो ही बदली है, बाकी खबर एक साझा समाचार स्रोत से बिना किसी बदलाव के प्रकाशित हुई है।)