वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण | फाइल फोटो
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने गुरुवार को उद्योग जगत से अपील की कि अब भारत में निवेश बढ़ाने और उत्पादन क्षमता को विस्तार देने का सही समय है। उन्होंने कहा कि सरकार ने टैक्स सुधार, कारोबार की आसानी और विदेशी निवेश (FDI) को खोलने जैसे बड़े कदम उठाए हैं। इंडियन फाउंडेशन फॉर क्वालिटी मैनेजमेंट के एक कार्यक्रम में बोलते हुए उन्होंने निजी क्षेत्र से सरकार के साथ मिलकर युवाओं को नौकरी के लिए तैयार करने में मदद करने को कहा।
सीतारमण ने कहा कि सरकार ने कई मोर्चों पर वादे पूरे किए हैं। उद्योग हमेशा मांग बढ़ने का इंतजार करते हैं, लेकिन वैश्विक चुनौतियों के कारण यह मांग बार-बार टलती रहती है। उन्होंने उद्योगों से अपील की कि वे सरकार के साथ साल भर संपर्क में रहें, न कि सिर्फ बजट से पहले।
3 सितंबर को सरकार ने GST ढांचे में बड़े बदलाव की घोषणा की। यह 2017 के बाद GST में सबसे बड़ा सुधार है। अब चार की जगह दो मुख्य GST दरें होंगी। ये बदलाव 22 सितंबर से लागू होंगे। इसके अलावा, फरवरी में पेश किए गए 2026 के बजट में व्यक्तिगत आयकर की सीमा बढ़ाई गई थी। इसका मकसद देश में खपत और मांग को बढ़ाना था।
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वित्त मंत्री ने उद्योगों से कहा कि वे युवाओं की स्किल्स को बेहतर बनाने में मदद करें। उन्होंने टाटा संस के चेयरमैन एन चंद्रशेखरन के एक सवाल का जवाब देते हुए कहा कि कई कंपनियां शिकायत करती हैं कि नए कर्मचारियों को नौकरी के लिए तैयार करने में छह से आठ महीने लगते हैं। उद्योगों को इस कमी को दूर करने के लिए सरकार के साथ मिलकर काम करना चाहिए।
सीतारमण ने बताया कि निजी क्षेत्र का निवेश अभी भी सरकारी पूंजीगत खर्च के मुकाबले पीछे है। अप्रैल-जुलाई 2026 के लिए सरकारी पूंजीगत खर्च बजट अनुमान का 30.9 फीसदी रहा। यह पिछले साल के मुकाबले 32.7 फीसदी ज्यादा है। उन्होंने जुलाई में एक कार्यक्रम में कहा था कि कंपनियों के पास मजबूत बैलेंस शीट हैं, लेकिन वे निष्क्रिय फंड्स पर बैठी हैं। वे इसका इस्तेमाल क्षमता विस्तार के लिए नहीं कर रही हैं।
वित्त मंत्री ने सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यमों (MSME) के महत्व पर भी जोर दिया। उन्होंने कहा कि एमएसएमई देश की जीडीपी में बड़ा योगदान देते हैं। सरकार ने स्मॉल इंडस्ट्रीज डेवलपमेंट बैंक ऑफ इंडिया (SIDBI) को MSME क्लस्टर में मौजूदगी बढ़ाने को कहा है। उन्होंने बताया कि डिजिटल बैंकिंग के दौर में भी SIDBI को हर क्लस्टर में फिजिकल रूप से मौजूद रहने के लिए प्रेरित किया गया है।
सीतारमण ने उद्योगों से अपील की कि वे युवाओं के लिए बेहतर ट्रेनर तैयार करने में मदद करें। इससे युवाओं की स्किल्स को अपग्रेड किया जा सकेगा और उद्योगों की मैनपावर की कमी को पूरा किया जा सकेगा।