प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आगामी गुरुवार को 20 वैश्विक निवेशकों और प्रमुख उद्योगपतियों के साथ विशिष्ट बातचीत करेंगे। इस बैठक में भारत के आर्थिक परिदृश्य तथा देश में दीर्घावधि के लिए पूंजी आकर्षित करने के लिए जरूरी संरचानात्मक सुधारों पर उनकी राय जानना है।
अर्थव्यवस्था की वृद्घि को गति देने के लिए मोदी की अध्यक्षता में लगातार बैठकें हो रही हैं और नीति निर्माताओं के साथ चर्चा के अलावा विभिन्न मसलों पर निवेशकों की चिंताओं को भी सुना जा रहा है। प्रधानमंत्री कार्यालय की ओर से जारी बयान में कहा गया कि कम से कम 20 बड़े वैश्विक पेंशन और सॉवरिन वेल्थ फंडों के वर्चुअल वैश्विक निवेशक गोलमेज बैठक में भाग लेंगे। इनमें अमेरिका, यूरोप, कनाडा, कोरिया, जापान, पश्चिम एशिया, ऑस्ट्रेलिया और सिंगापुर जैसे प्रमुख क्षेत्रों का प्रतिनिधित्व करने वाले वैश्विक संस्थागत निवेशक शामिल होंगे।
विदेशी निवेशकों के अलावा वर्चुअल वैश्विक बैठक में कई प्रमुख भारतीय उद्योगपति भी शामिल होंगे। इनमें रिलांयस के चेयरमैन मुकेश अंबानी, टाटा संस के सेवानिवृत्त चेयरमैन रतन टाटा, कोटक महिंद्रा बैंक के प्रबंध निदेशक उदय कोटक, एचडीएफसी के चेयरमैन दीपक पारेख, सन फार्मा के दिलीप सांघवी और इन्फोसिस के गैर-कार्यकारी चेयरमैन नंदन नीलेकणि प्रमुख हैं।
चालू वित्त वर्ष में अप्रैल से अगस्त के दौरान कुल 35.73 अरब डॉलर का प्रत्यक्ष विदेशी निवेश देश में आया है जो पिछले साल की समान अवधि की तुलना में करीब 13 फीसदी ज्यादा है।
इस वैश्विक बैठक का आयोजन नैशनल इन्वेस्टमेंट ऐंड इन्फ्रास्ट्रक्चर फंड के सहयोग से वित्त मंत्रालय द्वारा किया जा रहा है। वित्त मंत्रालय ने कहा कि विदेशी निवेशकों को प्रधानमंत्री के साथ एक-एक करके बातचीत करने का भी मौका मिलेगा। आर्थिक मामलों के विभाग के सचिव तरुण बजाज ने कहा कि बड़े फंडों के साथ प्रधानमंत्री अगले हफ्ते बातचीत करेंगे।
बजाज ने कहा कि पिछले कुछ महीनों में अर्थव्यवस्था सुधार की राह पर आगे बढ़ी है। नवंबर में भी इसमें और तेजी आने की उम्मीद है। उन्होंने कहा कि सभी आर्थिक पैमाने पर सुधार देखे जा रहे हैं।
