कोविड प्रकोप के मद्देनजर भूषण पावर ऐंड स्टील के अधिग्रहण में अड़चन और डोल्वी के विस्तार कार्यों के अटकने से शीर्ष भारतीय इस्पात उत्पादकों की सूची में जेएसडब्ल्यू स्टील की स्थिति सुधरने में अब संभवत: देरी होगी। जेएसडब्ल्यू स्टील 1.8 करोड़ टन स्थापित क्षमता के साथ तीसरी सबसे बड़ी इस्पात कंपनी बनी हुई है।
सार्वजनिक क्षेत्र की इस्पात कंपनी स्टील अथॉरिटी ऑफ इंडिया लिमिटेड (सेल) की कुल स्थापित क्षमता 2.03 करोड़ टन है जबकि टाटा स्टील की कुल स्थापित क्षमता 1.96 करोड़ टन है। टाटा स्टील के आंकड़े में टाटा स्टील, टाटा स्टील बीएसएल और टाटा स्टील लॉन्ग प्रोडक्ट्स के आंकड़े भी शामिल हैं।
जेएसडब्ल्यू अपनी वृद्धि (खुद के कारोबार में विस्तार और विलय-अधिग्रहण) के बल पर इस साल देश की सबसे बड़ी इस्पात कंपनी बन सकती थी, लेकिन कई अन्य कारणों से उसकी योजना में देरी हो गई है। करीब 30 लाख टन क्षमता के साथ बीपीएसएल का अधिग्रहण कानूनी पचड़े में फंस गया है जिसकी सुनवाई अब सर्वोच्च न्यायालय में हो रही है। जबकि डोल्वी में करीब 50 लाख क्षमता का विस्तार जून तक पूरा होना था लेकिन कोविड प्रकोप के मद्देनजर उसे फिलहाल टाल दिया गया है।
जेएसडब्ल्यू स्टील ने अपनी वार्षिक रिपोर्ट में लिखा है कि उसे अप्रैल 2020 के अंत में परिचालन सुचारु करने की अनुमति मिल गई थी। हालांकि ठेकेदारों द्वारा लगाए गए श्रमिकों के गांव चले जाने से विस्तार परियोजना को झटका लगा। वार्षिक रिपोर्ट में कहा गया है, ‘अंतरराष्ट्रीय यात्रा पर पाबंदी के कारण विदेशी विशेषज्ञों (हमारे प्रौद्योगिकी एवं उपकरण आपूर्तिकर्ताओं की ओर से) की उपलब्धता न होने के कारण संयंत्र को चालू करने की समय-सारणी भी प्रभावित हुई।’ डोल्वी वक्र्स में कच्चे इस्पात की क्षमता को 50 लाख टन से बढ़ाकर 1 करोड़ टन करने की योजना है। इसके अलावा वहां एक कैप्टिव (निजी) बिजली संयंत्र और कोक ओवन संयंत्र भी स्थापित करने की योजना है। लेकिन अब इसमें वित्त वर्ष 2021 की दूसरी छमाही तक देरी हो सकती है।
इक्रा के वरिष्ठ उपाध्यक्ष जयंत रॉय ने कहा कि भारत की सबसे बड़ी इस्पात कंपनी बनने के कगार पर खड़ी जेएसडब्ल्यू स्टील कुल स्थापित क्षमता के लिहाज से फिलहाल तीसरी सबसे बड़ी कंपनी है। यदि आप घरेलू सहायक इकाइयों सहित टाटा स्टील की कुल इस्पात क्षमता पर गौर करेंगे तो जेएसडब्ल्यू स्टील तीसरे पायदान दिखेगी। उत्पादन के लिहाज से टाटा स्टील देश की सबसे बड़ी इस्पात उत्पादक कंपनी है। वित्त वर्ष 2020 में टाटा स्टील का उत्पादन 1.82 करोड़ टन, सेल का उत्पादन 1.615 करोड़ टन और जेएसडब्ल्यू का उत्पादन 1.606 करोड़ टन रहा।