देश की सबसे बड़ी एयरलाइन कंपनियों में से एक IndiGo अपने विस्तार को लेकर योजना बना रही है। कंपनी को उम्मीद है कि वित्त वर्ष 2025 में उसके बेड़े में हर हफ्ते एक से अधिक विमान शामिल किए जाने का अनुमान है।
इसी के साथ कंपनी ने ये भी दावा किया कि वित्त वर्ष 2024- 25 में करीब 6000 कर्मचारियों को जोड़ने का भी लक्ष्य है। एयरलाइन ने कहा कि उन्हें उम्मीद है कि अगले वित्तीय वर्ष में क्षमता के साथ-साथ कंपनी के पास यात्रियों की संख्या में भी दोहरे अंकों वृद्धि होने की उम्मीद है।
बता दें इंडिगो की घरेलू बाजार में करीब 60 फीसदी से अधिक की हिस्सेदारी है इसी के साथ ये एक कम लागत वाली एयरलाइन भी है। कंपनी ने शुक्रवार को कहा कि वित्त वर्ष 2025 के लिए क्षमता में वृद्धि ‘early double digits’. में होने की उम्मीद है। जो कि FY24 के लिए ‘north of mid-teens’ था।
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फरवरी के अंत तक कंपनी के पास 366 विमान थे, जबकि वित्त वर्ष 2013 के अंत में इसके बेड़े की संख्या 304 थी। एयरबस के पास इंडिगो के पास 960 विमान ऑर्डर हैं। यह भी दावा किया जा रहा है कि यह 2030 तक ‘600+’ विमानवाहक पोत बनने की ओर अग्रसर है।
बाजार हिस्सेदारी के मामले में भारत की सबसे बड़ी विमानन कंपनी
2005 में स्थापित, इंडिगो बाजार हिस्सेदारी के मामले में भारत की सबसे बड़ी विमानन कंपनी है और 350 से अधिक विमानों के बेड़े का संचालन करती है। एयरलाइन वर्तमान में लगभग 2000 दैनिक उड़ानें संचालित कर रही है और 85 से अधिक घरेलू गंतव्यों और 30 से अधिक अंतरराष्ट्रीय गंतव्यों को जोड़ रही है।
इंडिगो हाल ही में 2,000 दैनिक उड़ानें संचालित करने और एक वर्ष में 100 मिलियन यात्रियों को ले जाने वाला भारत का पहला वाहक बन गया है।
बता दें, कम लागत वाली वाहक अकासा, जो अंतरराष्ट्रीय उड़ाने शुरू करने वाली सबसे नई कंपनी है, के बेड़े में 24 विमान हैं और अभी ऑर्डर पर 202 विमान हैं। कंपनी का लक्ष्य FY25 में अपने बेड़े में नए विमानों को जोड़ने के साथ अंतर्राष्ट्रीय उड़ानों में विस्तार करना भी है। कैलेंडर वर्ष 2023 में, इंडिगो 100 मिलियन यात्रियों को सेवा देने वाली पहली भारतीय एयरलाइन बन गई।