भले ही बजाज फाइनैंस का जून तिमाही का राजस्व बाजार अनुमानों को मात देने में सफल रहा है, लेकिन कंपनी को मुनाफे के मोर्चे पर बड़े दबाव का सामना करना पड़ा है। ऋणदाता को ऋण लागत में कोविड-19 संबंधित वृद्घि की वजह से जून तिमाही में चुनौती से जूझना पड़ा।
उपभोक्ता वित्त कंपनी की शुद्घ आय 4,152 करोड़ रुपये रही, जो 3,638 करोड़ रुपये के अनुमान की तुलना में सालाना आधार पर करीब 12.4 प्रतिशत ज्यादा है। हालांकि फंसे कर्ज से संबंधित प्रावधान में 3 गुना वृद्घि होने से कंपनी का कर-पूर्व लाभ सालाना आधार पर 29.3 प्रतिशत घटकर 1,310 करोड़ रुपये रह गया, जो 2,019 करोड़ रुपये के बाजार अनुमान की तुलना में 35 प्रतिशत कम है।
जून तिमाही में ऋणदाता ने 1,450 करोड़ रुपये का अतिरिक्त प्रावधान किया जिससे कोविड-19 की वजह से आकस्मिक ऋण नुकसान प्रावधान तिमाही के अंत में बढ़कर 2,350 करोड़ रुपये हो गया। कोविड-19 की वजह से आकस्मिक प्रावधान अब मोरेटोरियम बुक का 10.8 प्रतिशत है। कोविड प्रावधान के साथ साथ ऋणदाता का कुल प्रावधान जून के अंत में बढ़कर 2,973 करोड़ रुपये पर पहुंच गया, जो अप्रैल के अंत में 1,870 करोड़ रुपये था।
कंपनी की मोरेटोरियम बुक यानी ईएमआई स्थगन संबंधित बहीखाता (अप्रैल के 38,599 करोड़ रुपये के मुकाबले) घटकर 21,705 करोड़ रुपये का रह गया, जो जून तिमाही के अंत में ऋणदाता की एयूएम का 15.7 प्रतिशत है।
ऊंचे प्रावधान और एयूएम में 7 प्रतिशत की कमजोर वृद्घि बजाज फाइनैंस द्वारा बैलेंस शीट के जोखिम को दूर किए जाने के प्रयासों के अनुरूप है, लेकिन पहली तिमाही में कंपनी की ऋण वसूली में सुधार आया।
प्रभुदास लीलाधर में विश्लेषक श्वेता दप्तरदार का कहना है, ‘बजाज फाइनैंस ने पहली तिमाही में संग्रह और मोरेटोरियम बुक के लिए प्रावधान के मोर्चे पर अच्छा प्रदर्शन किया। हालांकि वित्त वर्ष 2021 में कोविड महामारी की वजह से कुछ चुनौतियां बनी रहेंगी, लेकिन इनका प्रभाव अपेक्षाकृत सीमित रहेगा।’
कंपनी ने कहा है कि मोरेटोरियम में सुधार लगभग सभी सेगमेंट में देखा गया और चूक दर में कमी आई और संग्रह में सुधार दर्ज किया गया।
दप्तरदार का कहना है कि उपभोक्ता बी2सी और मॉर्गेज के बड़े हिस्से (लगभग 70 प्रतिशत) ने हाल के समय में चूक के मामले नहीं देखे गए हैं, जो बेहद सकारात्मक है। इन व्यवसायों का बजाज फाइनैंस की एयूएम में 50 प्रतिशत से ज्यादा का योगदान रहा है। दप्तरदार को इस शेयर में 15-16 प्रतिशत की और तेजी आने की संभावना है।
अब यह ध्यान देने की जरूरत होगी कि दूसरी तिमाही में ऋण संग्रह का रुझान कैसा रहता है। कंपनी ने कोविड-19 की वजह से चूक की समस्या से निपटने के लिए 2,800 संग्रह अधिकारियों और करीब 16,000 कलेक्शन एजेंसी स्टाफ को शामिल किया। दूसरी तिमाही बैलेंस शीट की स्थिति को लेकर भी महत्वपूर्ण रहेगी, क्योंकि कुछ विश्लेषक संपूर्ण बैलेंस शीट पर दबाव की आशंका जता रहे हैं।
