बाजार को प्रोत्साहन देने की दिशा में ओपेक द्वारा अगले सप्ताह अपने उत्पादन में कटौती की संभावना के बीच आज एशियाई बाजार में तेल की कीमतों में बढ़ोतरी दर्ज की गई।
लाइट स्वीट क्रूड जनवरी डिलिवरी वाला सौदा 27 सेंट बढ़कर 43.79 डॉलर प्रति बैरल पर पहुंच गया। कल रात यह सौदा 1.45 डॉलर प्रति बैरल बढ़कर 43.52 डॉलर प्रति बैरल पर पहुंच गया।
सिंगापुर स्थित हडसन कैपिटल एनर्जी के कारोबारी क्लैरेंस चू ने कहा, ‘अब साल खत्म होने वाला है और कई कारोबारी जोखिम नहीं उठाना चाहते हैं। धारणा अभी भी मंदी की बनी हुई है। बहुत सारी बातें अगले हफ्ते होने वाली ओपेक की बैठक पर निर्भर करेंगी।’
गौरतलब है कि पेट्रोलियम निर्यातक देशों के संगठन ओपेक का वैश्विक स्तर पर कच्चे तेल में 40 फीसदी का योगदान है। ओपेक ने अल्जीरिया में 17 दिसंबर को प्रस्तावित बैठक में उत्पादन कोटे में कटौती करने के संकेत दिए है।
कई विशेषज्ञों का अनुमान है कि उत्पादन में कटौती 20 लाख बैरल प्रति दिन की होगी जो इस साल दो बार उत्पादन में की गई कटौती से मेल खाएगी।
सिंगापुर स्थित कंसल्टेंसी कंपनी पुर्विन ऐंड गर्ट्ज के ऊर्जा विश्लेषक विक्टर शुम ने कहा कि ओपेक के सबसे बड़े तेल उत्पादक सउदी अरब से मिले उत्पादन में कटौती के संकेतों से यह आशा जगी है कि ओपेक 17 दिसंबर को होने वाली बैठक में 20 लाख बैरल से अधिक कटौती करने का महत्वपूर्ण निर्णय ले सकता है।
उन्होंने कहा कि गैर-ओपेक तेल उत्पादकों के उत्पादन स्तर के साथ सहयोगात्मक रवैया अपनाने की रूस की योजना से भी तेल की कीमतों को समर्थन मिला है।
शुम ने कहा कि ओपेक द्वारा उत्पादन में की जाने वाली कटौती, जो पिछली बार कम होती कीमतों को संभालने में विफल रही थी, के परिणामस्वरूप कीमतों में तेजी नहीं आएगी लेकिन इससे बाजार में स्थिरता आएगी।