इलेक्ट्रिक वाहन (ईवी) उद्योग ने इस साल के पहले 11 महीनों में 20 लाख का आंकड़ा पार कर लिया है और दिसंबर में इसमें और वृद्धि की उम्मीद है। फेडरेशन ऑफ ऑटोमोबाइल डीलर्स एसोसिएशन (फाडा) के आंकड़ों के अनुसार, इस को यात्री वाहन उद्योग से बल मिला है। समीक्षाधीन अवधि में यात्री वाहनों की बिक्री ने 77.5 फीसदी की वृद्धि दर्ज की, जबकि दोपहिया वाहनों की बिक्री जनवरी से नवंबर के बीच 9.फीसदी बढ़ी।
यह पहली बार है कि ईवी उद्योग ने 20 लाख का आंकड़ा पार किया है और वह भी साल के पहले 11 महीनों में ही नया कीर्तिमान रच दिया है। इलेक्ट्रिक वाहनों की बिक्री एक साल पहले के मुकाबले 14.29 फीसदी बढ़ी है।
उद्योग पर नजर रखने वालों का कहना है कि यह भी पहली बार है कि यात्री वाहन, दोपहिया, तिपहिया और वाणिज्यिक वाहन दैसे सभी चार श्रेणियों ने पहले ही अपनी अब तक की सबसे अधिक वार्षिक बिक्री हासिल कर ली है।
इस साल के पहले 11 महीनों 160,894 इलेक्ट्रिक वाहनों का पंजीकरण हुआ, जो पिछले वर्ष की इसी अवधि में 90,598 गाड़ियों के मुकाबले 77.5 फीसदी अधिक है। इसका कारण महिंद्रा ऐंड महिंद्रा, जेएसडब्लू एमजी मोटर्स, ह्युंडै मोटर इंडिया के साथ-साथ बाजार की अग्रणी कंपनी टाटा मोटर्स द्वारा की गई बिक्री में मजबूत वृद्धि है, जिसने भी उच्च एक अंक में वृद्धि दर्ज की है।
दिसंबर में भारी भरकम छूट के साथ इलेक्ट्रिक यात्री वाहन उद्योग कैलेंडर वर्ष 2025 तक 1,80,000 इकाइयों का आंकड़ा छू सकता है। टाटा मोटर्स ने पंजीकरण में 9.67 फीसदी की वृद्धि दर्ज करते हुए 63,162 इकाइयों का आंकड़ा दर्ज किया, जबकि जेएसडब्ल्यू एमजी मोटर्स ने पहले और दूसरे स्थान के बीच के अंतर को काफी कम कर दिया। एमजी मोटर्स ने जनवरी-नवंबर 2025 में 47,612 गाड़ियां बेचीं, जबकि 2024 की इसी अवधि में यह आंकड़ा 17,936 गाड़ियों का था, जो 165 फीसदी से अधिक की वृद्धि है।