उदारीकरणा की दिशा में एक कदम और आगे बढ़ाते हुए उत्तर प्रदेश सरकार ने विशेष आर्थिक क्षेत्र (एसईजेड) के चार प्रस्तावों को औपचारिक स्वीकृति दे दी गई है।
इसके साथ ही दो अन्य प्रस्तवों को भी सैद्धांतिक मंजूरी मिल गई है। औपचारिक रूप से स्वीकृत चारों प्रस्तावों को केंद्र सरकार के पास अनुमोदन के लिए भेज दिया गया है।
इस हफ्ते मंजूर एसईजेड के ज्यादातर प्रस्ताव सूचना प्रौद्योगिकी क्षेत्र (आईटी) से जुड़े हैं। उत्तर प्रदेश में एसईजेड की स्थापना में रुचि दिखाने वाली कंपनियों में अंसल प्रॉपर्टीज ऐंड इन्फ्रास्ट्रक्चर, आईवीआर प्राइम और डीजी इन्फोटेक प्रमुख हैं।
प्रदेश सरकार की ओर से मंजूर एसईजेड के प्रस्तावों में आर्थिक रूप से पिछड़े क्षेत्र चंदौली का भी एक प्रस्ताव है।
गौरतलब है कि अंसल प्रॉपर्टीज ऐंड इंफ्रास्टक्चर ने लखनऊ में आईटी और आईटीईएस व बायोटेक सेक्टर, आईवीआर प्राइम और गोल्डन टॉवर इन्फोटेक ने नोएडा में आईटी सेक्टर, प्रोटो डेवलपर्स ऐंड टेक्नोलॉजी की ओर से गंगेहरा चंदौली में कालीन क्षेत्र में, मैक्स डीजी इन्फोटेक की ओर से नोएडा में आईटीईएस क्षेत्र में सेज की स्थापना का प्रस्ताव दिया था।
इन कंपनियों में अंसल प्रॉपर्टीज लखनऊ में रायबरेली रोड पर सेज की स्थापना करने को इच्छुक है। अंसल लखनऊ में 10.5 हेक्टेयर पर आईटी और 10.63 हेक्टेयर पर बायोटेक सेज स्थापित करेगी। उधर, आईवीआर प्राइम का प्रस्ताव नोएडा के सेक्टर 144 में 10 हेक्टेयर क्षेला पर आईटी एसईजेड की स्थापना का है।
इसी तरह गोल्डन टावर व मैक्स डीजी इन्फोटेक भी नोएडा में 10 हेक्टेयर क्षेत्र पर एसईजेड (सेज) स्थापित करेगी।
उत्तर प्रदेश के मुख्य सचिव प्रशांत कुमार मिश्रा के मुताबिक, भारत सरकार का अनुमोदन मिलते ही सेज परियोजनाओं पर काम शुरू कर दिया जाएगा।
मिश्रा ने औद्योगिक विकास विभाग अधिकारियों को निर्देश दिया है कि सेज के सभी प्रस्तावों पर जल्द ही विचार कर उन पर फैसला ले लिया जाएगा।