IT Sector Q1 Preview: आईटी सेक्टर की टॉप कंपनियों के वित्त वर्ष 2025-26 की पहली तिमाही (अप्रैल-जून) के नतीजों के साथ रिजल्ट सीज़न की शुरुआत होने जा रही है। अमेरिका और यूरोप में आर्थिक चुनौतियों के कारण वैश्विक तकनीकी खर्च दबाव में है। इससे विश्लेषकों को पहली तिमाही में आईटी कंपनियों के मिलेजुले प्रदर्शन की उम्मीद है।
हालांकि, आईटी कंपनियों की डील पाइपलाइन मजबूत बनी हुई है। साथ ही कंपनियों की टिप्पणियों से कुछ स्थिरता के संकेत मिल रहे हैं। लेकिन आर्थिक अनिश्चितताओं का असर कुल वृद्धि पर पड़ सकता है। ज्यादातर कंपनियां या तो स्थिर या मामूली राजस्व वृद्धि दिखा सकती हैं। कुछ कंपनियों में साल के आगे के हिस्से में सुधार के संकेत मिल सकते हैं।
ब्रोकरेज फर्म एंटिक ब्रोंकिग का कहना है कि घरेलू आईटी सेक्टर के लिए शॉर्ट टर्म अवधि की संभावनाएं मंद बनी हुई हैं। वित्त वर्ष 2025-26 की दूसरी छमाही में आउटलुक ज्यादा अनुकूल है। कंपनियों की तरफ से भर्ती रुझान और डील बुकिंग कुछ हद तक राहत देने लिए देखने के लिए महत्वपूर्ण हो सकती है।
टाटा कंसल्टेंसी सर्विसेज (TCS) अपनी पहली तिमाही के नतीजे 10 जुलाई को जारी करेगी। कोटक सिक्योरिटीज के अनुसार, कंपनी की स्थिर मुद्रा (constant currency) में राजस्व में 0.4% की गिरावट आ सकती है। यह गिरावट मुख्य रूप से बीएसएनएल डील से कम हुए राजस्व के कारण होगी। वहीं, विकसित बाजारों में वृद्धि बहुत कम यानी केवल 0.3 फीसदी रहने की संभावना है।
ICICI सिक्योरिटीज का अनुमान
आईसीआईसीआई सिक्योरिटीज को उम्मीद है कि टीसीएसी (TCS) की स्थिर मुद्रा में राजस्व में तिमाही आधार पर 3.4% और अमेरिकी डॉलर में 1.4% की गिरावट आ सकती है। इसका मुख्य कारण बीएसएनएल डील से जुड़े 30 करोड़ डॉलर की कटौती है। हालांकि, बीएफएसआई (BFSI) सेगमेंट के नेतृत्व में अंतरराष्ट्रीय बाजारों में बेहतर प्रदर्शन से कुछ राहत मिल सकती है।
मोतीलाल ओसवाल का अनुमान
ब्रोकरेज के विश्लेषकों को उम्मीद है कि जून तिमाही के लिए टीसीएस के स्थिर मुद्रा राजस्व में तिमाही आधार पर 0.5 प्रतिशत की गिरावट दर्ज की जा सकती है। ग्राहक निकट अवधि की अनिश्चितता के बीच सतर्क रुख अपनाना जारी रखेंगे। ब्रोकरेज का कहना है कि बीएफएसआई सेगमेंट लचीला बना रहेगा। जबकि हेल्थकेयर क्लाइंट प्रतीक्षा और देखो का आउटलुक अपना रहे हैं। निर्णय लेने में देरी और ठहराव जारी है, हालांकि महत्वपूर्ण सौदे रद्द नहीं हुए हैं।
एचसीएल टेक्नोलॉजीज़ अपनी पहली तिमाही की रिपोर्ट 14 जुलाई को जारी करेगी। कोटक सिक्योरिटीज के अनुसार, कंपनी का पहली तिमाही में रेवेन्यू 0.8 फीसदी घट सकता है। आईटी सेवाओं और उत्पाद खंडों में नरमी के कारण यह गिरावट हो सकती है। हालांकि, मुद्रा लाभ से कुछ राहत मिल सकती है। कोटक सिक्योरिटीज के अनुसार, एबीट मार्जिन में तिमाही आधार पर 60 बेसिस प्वाइंट की गिरावट आ सकती है।
एंटिक ब्रोकिंग का अनुमान
हम अनुमान लगाते हैं कि आईटी सेवाओं में मौसमी प्रभाव के कारण कंपनी का राजस्व स्थिर मुद्रा (CC) के आधार पर तिमाही आधार पर 1.0% घट सकता है।यूएस डॉलर में राजस्व में 1.0% की तिमाही वृद्धि की उम्मीद है। इसमें क्रॉस-करेंसी में उतार-चढ़ाव से 200 बेसिस प्वाइंट का लाभ शामिल है। हमें लगता है कि कंपनी अपना FY26 का राजस्व वृद्धि मार्गदर्शन 2%–5% पर बनाए रखेगी।
ब्रोकरेज ने कहा हम उम्मीद करते हैं कि EBIT मार्जिन 80 बेसिस प्वाइंट घटकर 17.1% हो जाएगा। इसका कारण सॉफ्टवेयर राजस्व में गिरावट और उत्पादकता पर प्रभाव है।जबकि कंपनी ने अपना मार्जिन गाइडेंस 18%-19% के बीच रखा है। डील बुकिंग के मजबूत बने रहने की उम्मीद है, जो लगभग 2–2.5 अरब डॉलर के आसपास हो सकती है।
इंफोसिस अपनी पहली तिमाही की कमाई 23 जुलाई को जारी करेगी। कोटक सिक्योरिटीज का कहना है कि इंफोसिस का रेवेन्यू वृद्धि अप्रैल-जून तिमाही में सालाना आधार पर 1.6% रह सकती है। यह वृद्धि बिलिंग दिनों की अधिक संख्या और वित्तीय सेवाओं में स्थिर प्रदर्शन के कारण देखने को मिल सकती है। वहीं, मार्जिन स्थिर रहने की संभावना है। साथ ही कंपनी वित्त वर्ष 2025-26 की राजस्व वृद्धि का गाइडेंस 0-3% से बढ़ाकर 1–3% कर सकती है।
एंटिक ब्रोकिंग का अनुमान
एंटिक ब्रोकिंग के अनुसार, कंपनी की स्थिर मुद्रा (CC) में रेवेन्यू तिमाही आधार पर 2.2 फीसदी बढ़ सकता है। यूएस डॉलर में राजस्व वृद्धि 3.8% रहने की उम्मीद है। इसमें 30 बेसिस प्वाइंट की इनऑर्गेनिक वृद्धि भी शामिल है। क्रॉस-करेंसी से 160 बेसिस प्वाइंट का लाभ मिल सकता है। यह वृद्धि कंपनी के गाइडेंस के अनुरूप है और हमें लगता है कि यह शुरुआत में ही दिखेगी। ऐसा इसलिए क्योंकि 3QFY26 में छुट्टियों (furloughs) का असर पड़ सकता है।
ब्रोकरेज ने कहा कि EBIT मार्जिन में 30 बेसिस प्वाइंट की तिमाही वृद्धि होकर यह 21.3% तक पहुंच सकता है। इसमें वेतन वृद्धि का प्रभाव होगा। लेकिन पिछली तिमाही के एकमुश्त खर्च, राजस्व वृद्धि और करेंसी से मिले लाभ इसे संतुलित करेंगे। डील बुकिंग लगभग 2.5 अरब डॉलर रहने की उम्मीद है। डील पाइपलाइन और कन्वर्ज़न मजबूत बने रहने की संभावना है।