महाराष्ट्र में औद्योगिक विकास को गति देने के लिए जिला व्यापार सुधार कार्य योजना 2025 लागू किया गया है । 154 सुधारों वाली यह पहल 14 अगस्त, 2026 तक लागू रहेगी। इसमें राज्य के जिला कलेक्टरों के लिए चिंतन शिविर और विभागीय बैठकें आयोजित की जाएंगी। जिला व्यापार में सुधार के लिए राज्य के प्रत्येक जिला कलेक्टर को अधिक अधिकार दिए जाएंगे।
मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस की अध्यक्षता में ईज़ ऑफ डूइंग बिजनेस पर एक समीक्षा बैठक आयोजित की गई। इस बैठक में मुख्य सचिव राजेश कुमार, प्रशासन के वरिष्ठ अधिकारी और राज्य के संभागीय आयुक्त एवं जिला कलेक्टर वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से उपस्थित थे।
मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने कहा कि राज्य के औद्योगिक विकास को गति देने के लिए 6 विभागीय समितियां बनाई गई हैं , जो 31 दिसंबर 2025 से पहले अपनी रिपोर्ट प्रस्तुत करेंगी। इनमें से ईज ऑफ डूइंग बिजनेस सुधार समिति नासिक डिवीजन कमिश्नर डॉ. प्रवीण गेडाम के नेतृत्व में काम कर रही है , जबकि विजय सूर्यवंशी (कोकण डिवीजन) और जितेंद्र पापलकर (छत्रपति संभाजीनगर डिवीजन) क्रमशः औद्योगिक संसाधन उपयोग और भूमि बैंक संवर्धन पर ध्यान केंद्रित कर रहे हैं।
राज्य में कारोबार में सुगमता की प्रगति , कार्यान्वित सुधारों और आगामी पहलों की समीक्षा की गई। सरकार की तरफ से कहा गया कि महाराष्ट्र ने कारोबार में सुगमता 2024 मूल्यांकन में उल्लेखनीय प्रगति की है और 402 सुधारों में से 399 पूरे हो चुके हैं। इससे राज्य का कार्यान्वयन स्कोर 99.25 प्रतिशत हो गया है। इससे पहले महाराष्ट्र को कारोबार में सुगमता 2020-21 में अचीवर और ईओडीबी का दर्जा दिया गया था। इसे 2022 में शीर्ष उपलब्धि प्राप्त करने वाले के रूप में सम्मानित किया गया । ईज़ ऑफ़ डूइंग बिज़नेस 2024 के अंतिम परिणाम 11 नवंबर, 2025 को घोषित किए जाएंगे।
ईज़ ऑफ डूइंग बिज़नेस के अंतर्गत भूमि एवं निर्माण परमिट, श्रम सुधार, उपयोगिता एवं निरीक्षण प्रणालियां और नियामक सरलीकरण प्रमुख फोकस क्षेत्र हैं । मैत्री 2.0 के माध्यम से एक संपूर्ण सिंगल-विंडो इकोसिस्टम लागू करने की योजना है। मैत्री 2.0 में सिंगल साइन-ऑन, परमिट स्थिति, सामान्य आवेदन पत्र, समेकित भुगतान, डैशबोर्ड, निरीक्षण, शिकायत निवारण और उपयोगकर्ता फ़ीडबैक जैसे आवश्यक मॉड्यूल शामिल किए जाएंगे।
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महाराष्ट्र व्यापार को आसान बनाने, विनियमन मुक्त करने और क्षेत्रीय अनुमोदनों को सरल बनाने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम उठा रहा है। उद्योगों के लिए अधिक अनुकूल और पारदर्शी वातावरण प्रदान करने हेतु बड़े सुधार किए जा रहे हैं। मुख्यमंत्री फडणवीस ने कहा कि केंद्र सरकार के उद्योग और आंतरिक व्यापार संवर्धन विभाग (डीपीआईआईटी) की व्यापार सुधार कार्य योजना (बीआरएपी) के अनुसार, महाराष्ट्र 2015 से लगातार देश में सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करने वाले राज्यों में से एक रहा है ।
