उत्तर प्रदेश में नेपाल सीमा पर बसे गांवों में लोगों को सैटेलाइट चैनल देखने की सुविधा मिलेगी। उत्तर प्रदेश सरकार नेपाल के सीमावर्ती जिलों के गावों में मुफ्त डायरेक्ट टू होम (DTH) लगवाएगी। नेपाल सीमा के इन गांवों में प्रदेश सरकार फ्री डिश लगवाएगी। इसके लिए पात्र लोगों के चयन के मानक तय कर दिए गए हैं। सीमावर्ती जिलों के गावों में DTH लगाने का जिम्मा प्रसार भारती को सौंपा गया है जो दूरदर्शन के DTH डिश लगवाएगी।
नेपाल के सीमा पर बसे उत्तर प्रदेश के जिलों के गांवों में केंद्र सरकार की बार्डर एरिया डेवलपमेंट कार्यक्रम के तहत सैटेलाइट चैनल देखने की सुविधा उपलब्ध करायी जाएगी। सरकार का कहना है कि इन गावों के लोग देश दुनिया की जानकारियों से वंचित रहते हैं। सैटेलाइट चैनलों के जरिए इनका संपर्क बाहरी दुनिया से हो सकेगा। अधिकारियों का कहना है कि नेपाल सीमा पर बसे गावों में मोबाइल नेटवर्क की समस्या रहती है जिसके चलते वहां के लोगों के लिए टीवी देख पाना भी संभव नहीं हो पाता है। DTH लगने के बाद ये समस्या नहीं होगी।
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फ्री DTH लगाने के कार्यक्रम के तहत उन गावों को शामिल किया जाएगा जो नेपाल सीमा से दस किलोमीटर तक की दूरी पर स्थित हैं। इन गांवों में ग्राम पंचायत विभाग के सर्वे से यह तय किया जाएगा कि किसे DTH की सुविधा दी जानी है। इसके लिए ब्लॉक डेवलपमेंट ऑफिसर संबंधित गांवों के पंचायत सचिवों के माध्यम से पात्र लोगों की सूची तैयार करवाएंगे। गावों में उन लोगों को सर्वे के जरिए चयनित किया जाएगा जिनके पास टीवी तो है पर DTH की सुविधा नहीं है। पात्र लोगों की सूची पोर्टल पर डाली जाएगी और फिर उन्हें चरणबद्ध तरीके से DTH दिए जाएंगे।
उत्तर प्रदेश में नेपाल सीमा से सटे जिलों पीलीभीत, लखीमपुर, बहराइच, श्रावस्ती, बलरामपुर, सिद्धार्थनगर और महराजगंज के गावों में DTH की सुविधा प्रसार भारती की ओर से दी जाएगी। इन जिलों के 400 से ज्यादा गांव नेपाल की सीमा के दस किलोमीटर की परिधि में बसे हैं।