भारत

Tibet earthquake: तिब्बत में 6.8 तीव्रता के भूकंप से 95 लोगों की मौत, नेपाल में भी झटके महसूस किए गए

इस भूकंप का असर भारत के कुछ हिस्सों में भी महसूस किया गया। खासतौर पर बिहार के शिवहर और पश्चिम बंगाल के कुछ इलाकों में झटके महसूस किए गए।

Published by
मानसी वार्ष्णेय   
Last Updated- January 07, 2025 | 3:32 PM IST

Tibet earthquake: तिब्बत के सबसे पवित्र शहरों में से एक के निकट मंगलवार को 6.8 तीव्रता का भूकंप आया, जिसमें कम से कम 95 लोगों की मौत हो गई और 130 अन्य घायल हो गए। पड़ोसी देश नेपाल में भी भूकंप के झटके महसूस किए गए जिसके कारण इमारतें हिलने लगीं और लोग अपने अपने घरों से बाहर निकल आए। क्षेत्रीय आपदा राहत मुख्यालय के अनुसार, मंगलवार को सुबह नौ बजकर पांच मिनट (चीन के समयानुसार) पर तिब्बत स्वायत्त क्षेत्र के शिगाजे शहर की डिंगरी काउंटी में भूकंप के झटके महसूस किए गए। अमेरिकी भूगर्भ सर्वेक्षण ने भूकंप की तीव्रता 7.1 बताई है।

सरकारी समाचार एजेंसी ‘शिन्हुआ’ के अनुसार, भूकंप का केंद्र 28.5 डिग्री उत्तरी अक्षांश और 87.45 डिग्री पूर्वी देशांतर पर था, जो 10 किलोमीटर की गहराई पर स्थित था।

चीन के राष्ट्रपति शी चिनफिंग ने प्रभावित क्षेत्रों में राहत और बचाव कार्य चलाने के लिए हर संभव प्रयास करने के आदेश दिए। शी ने घायलों के उपचार के लिए हरसंभव प्रयास करने का आदेश दिया तथा द्वितीयक आपदाओं (भूकंप के बाद संभावित आपदाओं) को रोकने, प्रभावित निवासियों के समुचित पुनर्वास तथा इसके बाद के कार्यों को प्रभावी ढंग से करने के लिए प्रयास करने का आग्रह किया। भूकंप से प्रभावित इलाकों में राहत और बचाव कार्य जारी हैं। स्थानीय प्रशासन ने लोगों से सतर्क रहने की अपील की है।

इसके अलावा, इस भूकंप का असर भारत के कुछ हिस्सों में भी महसूस किया गया। खासतौर पर बिहार के शिवहर और पश्चिम बंगाल के कुछ इलाकों में झटके महसूस किए गए।

राष्ट्रीय भूकंप विज्ञान केंद्र (National Centre for Seismology) के अनुसार, भूकंप सुबह 6:35 बजे नेपाल-तिब्बत सीमा के पास शीज़ांग (Xizang) क्षेत्र में आया। 7.1 तीव्रता का भूकंप काफी शक्तिशाली माना जाता है और यह गंभीर नुकसान पहुंचा सकता है। इसी क्षेत्र में 4.7 और 4.9 तीव्रता के दो आफ्टरशॉक्स भी दर्ज किए गए।

तिब्बत में भूकंप के बाद राहत-बचाव कार्य तेज, लेवल-3 इमरजेंसी घोषित

तिब्बत में भूकंप के बाद राहत और बचाव कार्य तेजी से जारी है। चीन की सरकारी न्यूज एजेंसी सिन्हुआ की रिपोर्ट के मुताबिक, भूकंप के कारण कई लोग मलबे में फंस गए हैं, जिन्हें बाहर निकालने का काम किया जा रहा है।

चीन की सीसीटीवी न्यूज वेबसाइट के अनुसार, चीन की स्टेट काउंसिल ने तिब्बत क्षेत्र में एक राष्ट्रीय टास्क फोर्स भेजी है। हालात को देखते हुए क्षेत्र में लेवल-3 इमरजेंसी घोषित कर दी गई है। राहत कार्य में स्थानीय प्रशासन और राष्ट्रीय एजेंसियां मिलकर काम कर रही हैं।

डेढ़ घंटे में छठा भूकंप, चीन का ज़िज़ांग प्रांत बना केंद्र

चीन के ज़िज़ांग प्रांत में डेढ़ घंटे के अंदर भूकंप के छह झटके महसूस किए गए हैं। पहले भूकंप की तीव्रता 7.1 मापी गई, जिसके बाद धरती लगातार डोलती रही। पहले एक घंटे में पांच भूकंप आए, और अब छठे भूकंप के झटके भी महसूस किए गए हैं।

छठे भूकंप की तीव्रता 4.8 दर्ज की गई है। सभी भूकंपों का केंद्र चीन के तिब्बत क्षेत्र का ज़िज़ांग प्रांत रहा है। लगातार आ रहे इन भूकंपों से क्षेत्र में दहशत का माहौल है। फिलहाल जान-माल के नुकसान की जानकारी का इंतजार है।

भूकंप के दौरान भूलकर भी ना करें ये काम, बढ़ सकता है खतरा

भूकंप के दौरान अक्सर लोग घबराकर गलतियां कर बैठते हैं, जिससे जान-माल का नुकसान हो सकता है। ऐसे में सतर्क रहना जरूरी है। जानें, भूकंप के समय किन बातों का ध्यान रखना चाहिए और कौन-से काम भूलकर भी नहीं करने चाहिए:

  1. लिफ्ट का इस्तेमाल ना करें
    अगर आप ऊंची इमारत में रहते हैं, तो भूकंप के झटकों के दौरान लिफ्ट का इस्तेमाल करने से बचें। झटके रुकने तक सुरक्षित जगह पर रुकें। जल्दीबाजी में भागने से हादसा हो सकता है।
  2. दरवाजों और खिड़कियों से दूर रहें
    भूकंप के समय दरवाजों और खिड़कियों के पास खड़े होना खतरनाक हो सकता है। खासकर, शीशे वाली खिड़कियों और दरवाजों से दूर रहें क्योंकि इनके टूटने का खतरा रहता है।
  3. दरवाजे और खिड़कियां खोलने में जल्दबाजी ना करें
    भूकंप रुकने के बाद भी तुरंत खिड़कियों और दरवाजों को खोलने से बचें। कई बार ये दरवाजे झटकों से कमजोर हो जाते हैं और अचानक गिर सकते हैं।
  4. बिजली के उपकरणों से दूर रहें
    भूकंप के दौरान घर में बिजली के उपकरण या स्विच बोर्ड को ऑन-ऑफ करने से बचें। इससे शॉर्ट सर्किट या अन्य खतरे हो सकते हैं।

सावधानी ही बचाव है
भूकंप के दौरान घबराने के बजाय शांत रहें और इन सावधानियों का पालन करें। सुरक्षित रहें और दूसरों को भी सतर्क करें।

(PTI के इनपुट के साथ)

First Published : January 7, 2025 | 7:34 AM IST