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SBI का होम लोन पोर्टफोलियो 8 लाख करोड़ के पार, 2027 तक 10 लाख करोड़ पहुंचने का लक्ष्य

12-14% की वार्षिक वृद्धि दर से बढ़ रहा है पोर्टफोलियो, किफायती आवास योजनाओं से मिलेगा समर्थन

Last Updated- February 26, 2025 | 11:02 PM IST
SBI Q1FY26 Results

देश के सबसे बड़े कर्जदाता भारतीय स्टेट बैंक के आवास ऋण का बहीखाता 8 लाख करोड़ रुपये पर पहुंच गया है। बैंक अब उम्मीद कर रहा है कि उसका होम लोन का बहीखाता मार्च 2027 तक बढ़कर 10 लाख करोड़ रुपये पर पहुंच जाएगा। बैंक अपने आवास ऋण के ग्राहकों के संबंधों का लाभ उठाकर क्रेडिट और देनदारी सहित अन्य वित्तीय उत्पादों की पहुंच बढ़ाने पर काम कर रहा है।

स्टेट बैंक के चेयरमैन सीएस शेट्टी ने बिज़नेस स्टैंडर्ड से कहा कि आवास ऋण पोर्टफोलियो 12 से 14 प्रतिशत बढ़ रहा है और इस रफ्तार से 2027 तक लोन बुक 10 लाख करोड़ रुपये तक पहुंच जाएगा। उन्होंने कहा, ‘बैंक की क्षमता इससे अधिक की है।’ फरवरी 2025 में बैंक 8 लाख करोड़ रुपये के आंकड़े पर पहुंच गया।

दिसंबर 2024 तक के आंकड़ों के मुताबिक स्टेट बैंक का आवास ऋण पोर्टफोलियो सालाना आधार पर 14.26 प्रतिशत बढ़कर 7.92 लाख करोड़ रुपये हो गया था। कुल घरेलू ऋण पोर्टपोलियो में आवास ऋण की हिस्सेदारी 22.94 प्रतिशत है। आवास ऋण के बाजार में स्टेट बैंक की हिस्सेदारी दिसंबर 2023 में 20.48 प्रतिशत थी।

एचडीएफसी बैंक देश का दूसरा बड़ा कर्जदाता है। यह निजी क्षेत्र का सबसे बड़ा बैंक है, जिसका खुदरा कर्ज सितंबर 2024 में 8 लाख करोड़ रुपये के आंकड़े को पार कर गया है। दिसंबर के अंत तक पोर्टफोलियो बढ़कर 8.17 लाख करोड़ रुपये हो गया, जिसमें सालाना 9.7 प्रतिशत वृद्धि हुई है।

सरकार किफायती आवास पर जोर दे रही है। साथ ही बड़ी संख्या में बिल्डरों के साथ कर्ज के समझौते हो रहे हैं। इसके अलावा बैंक शाखाओं और ऋण देने की केंद्रीय व्यवस्था है। इन वजहों से होम लोन को विस्तार देने में मदद मिल रही है। शेट्टी ने कहा कि ऋण देने के लिए महानगरों, शहरों, कस्बाई इलाकों और ग्रामीण क्षेत्रों में बैंक की महत्त्वपूर्ण मौजूदगी है।

क्रिसिल मार्केट इंटेलिजेंस ऐंड एनॉलिटिक्स के मुताबिक वित्त वर्ष 2023 से 2027 के बीच हाउसिंग सेग्मेंट 13 से 15 प्रतिशत सीएजीआर बढ़ने की संभावना है। वित्त वर्ष 2027 में इस सेग्मेंट का आकार 48.5 लाख करोड़ रुपये पहुंच सकता है। भारत सरकार कई सामाजिक सुरक्षा योजना और पहल कर रही है, जिससे कि आवास क्षेत्र में ज्यादा ऋण मिल सके और भारत में मकान का मालिकाना बढ़ सके।

First Published - February 26, 2025 | 11:00 PM IST

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