अर्थव्यवस्था

IGST exemption: छूट के मामले में नजीर बन सकता है तेलंगाना अथॉरिटी फॉर एडवांस रूलिंग का फैसला

विशेषज्ञों ने कहा कि इस रूलिंग का असर अन्य उद्योगों पर भी पड़ सकता है, जो विदेशी ग्राहकों को सेवाएं प्रदान करती हैं।

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इंदिवजल धस्माना   
Last Updated- May 16, 2024 | 10:22 PM IST

IGST exemption: अगर तेलंगाना अथॉरिटी फॉर एडवांस रूलिंग (एएआर) के आदेश को नजीर माना जाता है तो भारत के आईटी, मार्केटिंग और कंसल्टिंग के साथ अन्य कंपनियों द्वारा विदेशी ग्राहकों को दी गई सेवाओं पर संभवतः हमेशा एकीकृत वस्तु एवं सेवा कर (आईजीएसटी) नहीं लगेगा।

हैदराबाद के सेंटर फॉर इंटरनैशनल एडमिशन ऐंड वीजा (सीआईएवी) द्वारा विदेशी विश्वविद्यालयों और कॉलेजों में भारतीय विद्यार्थियों के प्रवेश के लिए उलबद्ध कराई गई सेवा के एक खास मामले में एएआर ने यह रूलिंग दी है। कंपनी का विश्वविद्यालयों, कॉलेजों या विद्यार्थियों के साथ किसी खास जगह प्रवेश दिलाने की गारंटी का कोई बाध्यकारी समझौता नहीं है।

एएआर ने पाया कि ये सेवाएं मध्यस्थ प्रकृति की नहीं हैं और न ही निर्यात हैं। कर एवं परामर्श फर्म एकेएम ग्लोबल में पार्टनर संदीप सहगल ने कहा कि इसका मतलब यह हुआ कि इस पर एकीकृत जीएसटी नहीं लगेगा, जो मध्यस्थ सेवाओं पर लगता है।

विशेषज्ञों ने कहा कि इस रूलिंग का असर अन्य उद्योगों पर भी पड़ सकता है, जो विदेशी ग्राहकों को सेवाएं प्रदान करती हैं। खासकर इसमें आईटी, परामर्श, मार्केटिंग और भर्ती क्षेत्र शामिल हैं।

First Published : May 16, 2024 | 10:22 PM IST