भारत के इन्फ्रास्ट्रक्चर और औद्योगिक क्षेत्र में लगातार मंदी से लार्सन ऐंड टुब्रो (एलऐंडटी) पर भी दबाव पड़ा है। कंपनी ने पहली बार वित्त वर्ष 2021 की दूसरी तिमाही में शुद्घ नुकसान (परिसंपत्तियों की बिक्री से एक-मुश्त लाभ को छोड़कर) दर्ज किया है। एकीकृत या समूह स्तर पर, मुख्य व्यवसाय इंजीनियरिंग एवं निर्माण प्रभावित बने रहे और एलऐंडटी ने अब अपने मुख्य व्यवसायों के मुकाबले आईटी सेवा सहायक इकाइयों से मुनाफा कमाया है।
एलऐंडटी ने सितंबर तिमाही के दौरान मुख्य आधार पर लगातार परिचालन से 1,767 करोड़ रुपये का नुकसान दर्ज किया, जो एक साल पहले के 1,717 करोड़ रुपये और वित्त वर्ष 2021 की पहली तिमाही के 282 करोड़ रुपये के शुद्घ लाभ के मुकाबले ज्यादा है।
सितंबर तिमाही में नुकसान पिछले दो दशकों में कंपनी के लिए पहला त्रैमासिक नुकसान है। शुद्घ बिक्री सालाना आधार पर 15 प्रतिशत कम रही, क्योंकि अनलॉक शुरू होने के बाद भी निर्माण गतिविधि में सुधार की रफ्तार धीमी रही थी।
समेकित स्तर पर, एलऐंडटी ने 1,410 करोड़ रुपये का शुद्घ लाभ दर्ज किया, जो सालाना आधार पर 45 प्रतिशत कम है, जिसमें परिसंपत्तियों की बिक्री से लाभ शामिल नहीं है। वहीं शुद्घ बिक्री में सालाना आधार पर 12 प्रतिशत की कमी दर्ज की गई।
हालांकि कंपनी को तिमाही के दौरान अपना स्विचगियर व्यवसाय श्नाइडर इलेक्ट्रिक को बेचने से हुए करीब 8100 करोड़ रुपये के एकमुश्त लाभ की वजह से बड़ी राहत मिली। इन लाभ को मिलाकर, एलऐंडटी ने दूसरी तिमाही के दौरान स्टैंडएलॉन आधार पर 6,879 करोड़ रुपये का शुद्घ लाभ दर्ज किया।
कंपनी ने इस रकम का एक बड़ा हिस्सा 2,500 करोड़ रुपये का विशेष लाभांश और अपने कुछ ऋणों की अदायगी में खर्च करने की योजना बनाई है।
हालांकि दलाल पथ ने तिमाही नतीजों पर नकारात्मक प्रतिक्रिया दिखाई है और एलऐंडटी गुरुवार को सबसे खराब प्रदर्शन करने वाला शेयर रहा और इसमें 5 प्रतिशत की कमजोरी आई जबकि उस दिन निफ्टी-50 में महज आधा प्रतिशत गिरावट आई। विश्लेषक स्टैंडएलॉन आधार पर शुद्घ नुकसान को लेकर ज्यादा चिंतित नहीं हैं, लेकिन उनके लिए बड़ी चिंता एलऐंडटी के पूंजी-केंद्रित इन्फ्रास्ट्रक्चर खंडों के लगातार कमजोर मुनाफे को लेकर है।
नारनोलिया सिक्योरिटीज में मुख्य निवेश अधिकारी शैलेंद्र कुमार ने कहा, ‘इम्पेयरमेंट शुल्क अपेक्षित और लंबे समय से देय था। प्रबंधन ने परिसंपत्तियों की बिक्री से हुए मुनाफे का इस्तेमाल सितंबर तिमाही में बैलेंस शीट को साफ-सुथरा बनाने के लिए किया।’
इन्फ्रास्ट्रक्चर परियोजनाओं के लिए एलऐंडटी का बड़ा निवेश हालांकि चिंता का कारण बना हुआ है। शैलेंद्र ने कहा, ‘समेकित स्तर पर, एलऐंडटी की लगभग आधी बैलेंस शीट बिजली, सड़क और मेट्रो समेत विभिन्न कमजोर प्रदर्शन वाली परियोजनाओं में फंसी हुई है, जिससे समेकित स्तर पर संपूर्ण लाभ पर दबाव पड़ा है। इसका उसके मूल्यांकन और शेयर भाव पर भी प्रभाव दिखा है।’
समेकित स्तर पर, कंपनी अब अपना राजस्व और मुनाफा बढ़ाने के लिए आईटी और प्रौद्योगिकी सेवा खंड पर निर्भरता बढ़ा रही है। वित्त वर्ष 2021 की दूसरी तिमाही में आईटी खंड का 1,131 करोड़ रुपये का पीबीआईटी उसके इन्फ्रास्ट्रक्चर खंड के लाभ के मुकाबले करीब दोगुना था और आय तथा राजस्व में सालाना आधार पर वृद्घि दर्ज करने के लिहाज से यह एकमात्र प्रमुख सेगमेंट था।
इस खंड का पीबीआईटी दूसरी तिमाही में सालाना आधार पर 30 प्रतिशत तक बढ़ा, जो एलऐंडटी के समेकित पीबीआईटी में 31 प्रतिशत की गिरावट और इन्फ्रास्ट्रक्चर खंड के मुनाफे में सालाना आधार पर 33 प्रतिशत की कमजोरी के मुकाबले अच्छा था।
दो सूचीबद्घ सहायक इकाइयों – एलऐंडटी इन्फोटेक और एलऐंडटी टेक्नोलॉजी सर्विसेज के अधीन आईटी खंड व्यवसाय का वित्त वर्ष 2021 की दूसरी तिमाही में एलऐंडटी के कुल पीबीआईटी में 40 प्रतिशत योगदान रहा जो एक साल पहले के 21 प्रतिशत के योगदान से करीब दोगुना है।
