तमिलनाडु में अपना तांबा प्लांट दोबारा शुरू करने की योजना बना रही वेदांत लिमिटेड 4,500 करोड़ रुपये के मूल्यांकन पर यह प्लांट बेचने के विकल्प पर विचार कर रही है। बैंकिंग सूत्रों ने यह जानकारी दी है।
कंपनी ने पिछले साल जून में इस प्लांट के लिए अभिरुचि पत्र मांगा था, लेकिन उसे कोई अच्छी प्रतिक्रिया नहीं मिली क्योंकि यह प्लांट पिछले पांच साल से बंद था। एक बैंकर ने अपना नाम नहीं बताने की शर्त पर कहा ‘बैंकरों द्वारा संभावित बोलीदाताओं तक पहुंचने के साथ यह प्रक्रिया अब दोबारा शुरू हो गई है।’
सर्वोच्च न्यायालय के निर्देश के बाद कंपनी ने 12 जून को प्लांट दोबारा शुरू करने की गतिविधियों के लिए अभिरुचि पत्र (ईओआई) आमंत्रित किया था। तमिलनाडु प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (टीएनपीसीबी) द्वारा जारी आदेश के बाद यह प्लांट बंद कर दिया गया था। वेदांत ने इस कामबंदी के खिलाफ सर्वोच्च न्यायालय का रुख किया था और अंतिम फैसला अगस्त तक आने की उम्मीद है। वेदांत को भेजे गए ईमेल का कोई जवाब नहीं मिला।
वेदांत लिमिटेड की मूल कंपनी वेदांत रिसोर्सेज (वीआरएल) फिलहाल अपना कर्ज चुकाने के लिए पैसा जुटाने में व्यस्त है। बैंकिंग सूत्रों ने कहा कि यह प्लांट बेचने से वेदांत द्वारा जुटाई गई रकम से इस साल के लिए उसे 1.7 अरब डॉलर के अपने पूंजीगत व्यय में मदद मिलेगी।
विश्लेषकों को इस बात की उम्मीद है कि वीआरएल अगले कुछ महीनों में अपनी ऋण देयता पूरी करने में सफल रहेगी, जिसे हाल ही में 1.3 अरब डॉलर की रकम जुटाने के प्रयासों से सहायता मिली है। विश्लेषकों का कहना है कि रकम का इंतजाम करने के और अधिक रास्ते अब भी खुले हुए हैं जैसे लाभांश अपस्ट्रीमिंग और 2,100 रुपये तक का घरेलू बॉन्ड प्राइवेट प्लेसमेंट, जिसे हाल ही में निदेशक मंडल और परिसंपत्ति बिक्री से मंजूरी किया गया था।
वीआरएल के पास मार्च 2023 तक विभिन्न बैंक जमाराशि, कोटेड बॉन्ड और म्युचुअल फंड में 1.7 अरब डॉलर का अल्पकालिक निवेश है। क्रेडिटसाइट्स के विश्लेषकों का मानना है कि अगर जरूरत पड़ती है और मार्क-टु-मार्केट से संभावित नुकसान हुआ तो इसका परिसमापन किया जा सकता है। वेदांत का शेयर 0.5 प्रतिशत तक गिरकर 281 रुपये पर बंद हुआ।