एलऐंडटी समूह की इंजीनियरिंग सेवा शाखा एलऐंडटी टेक्नोलॉजी सर्विसेज (एलटीटीएस) ने वित्त वर्ष 24 की राजस्व वृद्धि का अनुमान 17.5 से 18.5 प्रतिशत के स्तर पर बरकरार रखा है, जो चौथी तिमाही और उसके बाद भी सकारात्मक रुख की ओर इशारा कर रहा है। एलटीटीएस के मुख्य कार्याधिकारी और प्रबंध निदेशक अमित चड्ढा ने आयुष्मान बरुआ के साथ साक्षात्कार में मांग के माहौल और कंपनी की भावी योजनाओं के बारे में बात की। प्रमुख अंश …
हम अपना अनुमान बरकरार रख रहे हैं जो मूल रूप से यह बताता है कि हमें मजबूत चौथी तिमाही की उम्मीद है और यही वह आधार है जिसके दम पर हम इसे कायम रखने में सक्षम रहे हैं। इस तिमाही में हमने कई सौदे हासिल किए हैं और वृद्धि का इंजन जारी है। हमने परिवहन, चिकित्सा और औद्योगिक उत्पादों जैसे क्षेत्रों में आर्टिफिशल इंटेलिजेंस (एआई) के क्षेत्र में कई पेटेंट दायर किए हैं। तीसरी तिमाही के अंत में हमारा पेटेंट पोर्टफोलियो 1,249 था, जिनमें से 811 इसके ग्राहकों के साथ मिलकर और बाकी एलटीटीएस द्वारा दायर किए गए हैं।
वैश्विक इंजीनियरिंग और अनुसंधान एवं विकास (ईआरऐंडडी) खर्च आने वाले दिनों में वर्ष 2025 तक बढ़कर लगभग 600 अरब डॉलर से लेकर 775 अरब डॉलर तक होने वाला है और कुल खर्च में भारत की हिस्सेदारी लगभग 45 अरब डॉलर होगी। इसलिए हम मांग के माहौल के संबंध में आशावादी हैं।
हम पिछले साल अपने ग्राहकों से दरें बढ़वाने में सफल रहे। हमें उम्मीद है कि इस साल भी ऐसा ही जारी रहेगा।
हमने पिछले चार महीने में जेन एआई में 53 पेटेंट दाखिल किए हैं। हमने इस्तेमाल के विभिन्न मामलों का अध्ययन किया हैं, जो परीक्षण स्वचालन से संबंधित परिवहन में उपयोग, चिकित्सा में छाती के एक्स-रे, एंडोस्कोपी के साथ-साथ उन्नत इमेजिंग से संबंधित हैं। विनिर्माण में यह उत्पादन के आंकड़ों और औद्योगिक आंकड़ों के साथ-साथ ऊर्जा विश्लेषण के संबंध में हैं। हमने कई समाधान विकसित किए हैं और एडब्ल्यूएस, गूगल तथा एनविडिया के साथ भी साझेदारी की है और मेरा मानना है कि जैसे-जैसे हम आगे बढ़ेंगे, इससे हम अच्छी स्थिति में रहेंगे।
वित्त वर्ष समाप्त होने तक हम करीब 2,000 नए लोगों को अपने साथ जोड़ चुके होंगे। अगले वर्ष के लिए हमारा लक्ष्य 2,000 और नए लोगों को शामिल करना भी होगा। हमने लगभग 1,200 प्रस्ताव दिए और आगे चकलर हम अन्य पेशकश भी करेंगे। तिमाही आधार पर हमारे कर्मचारियों की संख्या में कमी जरूर आई, लेकिन ऐसा इसलिए हुआ क्योंकि हमने नौकरी छोड़ने वाले कर्मचारियों को नहीं भरा और यही हमारे मार्जिन और हमारे कारोबार को प्रबंधित करने का तरीका है