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Q2 Results: ऑयल इंडिया का मुनाफा बढ़ा, टाइटन का लाभ 23 प्रतिशत घटा

सरकार संचालित प्राकृतिक गैस आपूर्तिकर्ता गेल का समेकित शुद्ध लाभ जुलाई-सितंबर तिमाही में 10.2 प्रतिशत बढ़ा है।

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शुभायन चक्रवर्ती   
शार्लीन डिसूजा   
Last Updated- November 05, 2024 | 9:34 PM IST

वित्त वर्ष 2025 की दूसरी तिमाही में सरकार के स्वामित्व वाली ऑयल इंडिया लिमिटेड का समेकित शुद्ध लाभ 3.79 गुना बढ़ा है। कंपनी का शुद्ध लाभ तीन गुना से ज्यादा बढ़कर 2,016.2 करोड़ रुपये हो गया, जो वित्त वर्ष 2024 की समान अवधि में 420.6 करोड़ रुपये था। तिमाही आधार पर शुद्ध लाभ वित्त वर्ष 2023 की चौथी तिमाही के 1,885.78 करोड़ रुपये की तुलना में 6.91 प्रतिशत बढ़ा है।

मुनाफे में यह वृद्धि न्यून आधार की वजह से दर्ज की गई, क्योंकि कंपनी ने वित्त वर्ष 2024 की दूसरी तिमाही में रॉयल्टी पर सेवा कर/जीएसटी के रूप में 2,362.72 करोड़ रुपये का खर्च दर्ज किया था। इससे मुनाफे पर दबाव पड़ा था। इस साल के शुरू में, वित्त मंत्रालय ने ओआईएल को महारत्न का दर्जा दिया, जिससे वह देश में यह सम्मान पाने वाली 13वीं सरकारी क्षेत्र की उद्यम बन गई।

महारत्न का दर्जा मिलने का मतलब है कि ऑयल इंडिया को अब सरकार से मंजूरी लिए बिना 1,000 करोड़ रुपये तक निवेश करने की वित्तीय स्वायत्तता मिल गई है। ऑयल इंडिया बोर्ड ने तीन संयुक्त उपक्रम कंपनियों के गठन की मंजूरी दी है।

गेल का शुद्ध लाभ 10.2 प्रतिशत बढ़ा

सरकार संचालित प्राकृतिक गैस आपूर्तिकर्ता गेल का समेकित शुद्ध लाभ जुलाई-सितंबर तिमाही में 10.2 प्रतिशत बढ़ा है। कंपनी का शुद्ध लाभ बढ़कर 2,693.5 करोड़ रुपये हो गया, जो एक साल पहले की इसी अवधि में 2,444.05 करोड़ रुपये था। तिमाही आधार पर गेल का शुद्ध लाभ 3,182.9 करोड़ रुपये की तुलना में 15.37 प्रतिशत घट गया।

परिचालन से समेकित राजस्व 2.81 प्रतिशत बढ़कर 33,981.3 करोड़ रुपये हो गया जो वित्त वर्ष 2024 की दूसरी तिमाही में 33,049.7 करोड़ रुपये के मुकाबले अधिक है। दूसरे सबसे बड़े राजस्व सेगमेंट प्राकृतिक गैस पारेषण का मुनाफा 8 प्रतिशत बढ़कर 1,402.8 करोड़ रुपये रहा जो पूर्ववर्ती वर्ष की इसी तिमाही में 1,294.42 करोड़ रुपये था। शहरी गैस वितरण से लाभ 1.2 गुना बढ़कर 205.03 करोड़ रुपये रहा जो वित्त वर्ष 2024 की दूसरी तिमाही में 93.07 करोड़ रुपये था।

वित्त वर्ष 2025 की दूसरी तिमाही में टाइटन कंपनी का शुद्ध लाभ एक साल पहले की तुलना में 23.1 प्रतिशत घट गया। सीमा शुल्क में कटौती के असर की वजह से कंपनी के मुनाफे पर दबाव पड़ा। पिछले साल की तुलना में सितंबर तिमाही में परिचालन से राजस्व 25.8 प्रतिशत बढ़कर 13,473 करोड़ रुपये रहा जबकि उसका शुद्ध लाभ 704 करोड़ रुपये रहा।

तिमाही आधार पर कंपनी का शुद्ध लाभ 1.5 प्रतिशत घट गया जबकि राजस्व में 10.2 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की गई। आभूषण दिग्गज का एबिटा सालाना आधार पर 11.5 प्रतिशत घटकर सितंबर तिमाही में 1,359 करोड़ रुपये रहा।

तनिष्क की मालिक टाइटन की आभूषण व्यवसाय से कुल आय पिछले साल की इसी तिमाही के मुकाबले 26 प्रतिशत बढ़कर 10,763 करोड़ रुपये रही। इस अवधि में उसका भारतीय व्यवसाय 25 प्रतिशत बढ़ा।

कंपनी ने अपनी विज्ञप्ति में कहा है, ‘सीमा शुल्क में कटौती से उपभोक्ताओं की रुचि फिर से बढ़ी क्योंकि सोने की कीमतें अस्थायी रूप से कम हो गईं। इसके बाद सोने का आकर्षण सितंबर के मध्य तक जारी रहा। तिमाही के दौरान भारत में तनिष्क ने 11 नए स्टोर खोले जबकि मिया ने 12 और जोया ने 1 स्टोर खोला।’

First Published : November 5, 2024 | 9:33 PM IST