टाटा मोटर्स और जनरल मोटर्स के बाद अब फोर्ड इंडिया प्राइवेट लिमिटेड भी छोटी कार लाने की योजना बना रही है।
कंपनी का कहना है कि वर्ष 2010 की पहली तिमाही में फोर्ड की छोटी कार बाजार में आ जाएगी। फोर्ड इंडिया के कार्यकारी निदेशक (मार्केटिंग, सेल्स ऐंड सर्विस) एन.ई. वार्क से जब यह पूछा गया कि क्या उनकी कार मारुति 800 और शेव्रले स्पार्क को टक्कर देगी, तो उन्होंने बताया कि फोर्ड की कार इसी सेगमेंट में आएगी।
हालांकि हम बड़े स्तर पर छोटी कारों की बिक्री करने की योजना बना रहे हैं। भारत और चीन छोटी कारों कारों का बड़ा बाजार है। ऐसे में कंपनी इन दो देशों पर ध्यान केंद्रित करेगी। हालांकि वार्क ने कार की कीमत और योजना के बारे में विस्तार से बताने से इनकार कर दिया।
पिछले साल फोर्ड इंडिया ने व्हीलक और इंजन निर्माण क्षमता के विस्तार पर करीब 50 करोड़ डॉलर निवेश किया है। गौरतलब है कि फोर्ड इंडिया वाहन निर्माण क्षमता को बढ़ाकर 200,000 इकाई सालाना और इंजन निर्माण क्षमता 250,000 इकाई सालाना की जा रही है।
वार्क का कहना है कि विस्तार योजना पूरी होने के बाद कंपनी निर्यात पर ज्यादा जोर देगी। उन्होंने कहा कि छोटी कारों का भी निर्यात किया जा सकता है। कस्टमर सर्विस के लिए फोर्ड इंडिया देशभर में त्वरित सर्विस सेंटर के विस्तार की योजना बना रही है।
मौजूदा समय में कंपनी की ओर से 23 शहरों में इस तरह के सेंटर चल रहे हैं, जिसकी संख्या वर्ष 2009 के अंत तक बढ़ाकर 45 करने की योजना है।
