टाटा सन्स की सहयोगी इकाई टाटा हाउसिंग डेवलपमेंट कंपनी उम्मीद कर रही है कि सस्ते मकान की परियोजना से उसे अगले चार साल में 700 करोड़ रुपये की आमदनी हो सकती है।
टाटा हाउसिंग ने मुंबई के भायसर में 3.9 लाख से 6.7 लाख रुपये के बीच शुभ गृह नाम से 1000 सस्ते मकान की परियोजना लॉन्च की है। कंपनी अगले चार साल में दूसरे शहरों में भी इसी तरह के 4000 मकान बनाने की योजना बना रही है।
कंपनी ने वित्तीय वर्ष 2013 तक अपनी हाउसिंग परियोजनाओं से 15,000 करोड़ रुपये का समेकित लाभ हासिल करने का लक्ष्य रखा है, जिसके तहत 2 करोड़ वर्ग फीट पर मकान बनाए जाएंगे। उस समय तक कंपनी ने 10,000 से 13,000 मकान बनाने का लक्ष्य निर्धारित किया है। कंपनी की कुल आय लक्ष्य में कम लागत वाले मकान का हिस्सा 5 फीसदी है।
टाटा हाउसिंग के प्रमुख कार्यकारी और प्रबंध निदेशक ब्रोतिन बनर्जी ने कहा, ‘कम लागत वाले मकान बहुत तेजी से बनाए जाते हैं और ऐसी परियोजनाएं दो साल के अंदर पूरी हो जाती है। सस्ते मकान खंड खासकर औद्योगिक बेल्ट में हम अपार संभावनाएं देख रहे हैं।’
बनर्जी ने बताया कि कंपनी बेंगलुरु और राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र (एनसीआर) में इस तरह की दो-तीन परियोजनाएं मौजूदा वित्तीय वर्ष में लॉन्च कर रही है। इसके लिए जमीन के मालिकों से बातचीत भी जारी है। ओमैक्स, अंसल एपीआई और दूसरी अन्य रियल एस्टेट कंपनियों ने मौजूदा आर्थिक संकट के दौर में 5 से 10 लाख रुपये के बीच मकान देने की योजनाएं लॉन्च की है।
दिल्ली की रियल एस्टेट कंपनी ओमैक्स ने इंदौर के मायाखेड़ी में 5.99 लाख से 8.99 लाख रुपये में 5000 अपार्टमेंट बनाने की योजना लॉन्च की है। इसी तरह अंसल एपीआई ने जयपुर, जोधपुर, आगरा और मेरठ में 4,000 सस्ते अपार्टमेंटों की परियोजना का ऐलान किया है।
बनर्जी बताते हैं, ‘हम हर साल अपनी आमदनी दुगनी कर रहे हैं। हम चाहते हैं कि अलग तरह की पहल कर हम अपनी विकास यात्रा जारी रखें।’
मुंबई के अलावा, दूसरे शहरों में भी 4000 सस्ते मकान बनाने की टाटा हाउसिंग की योजना
बेंगलुरु और एनसीआर में भी इसी साल शुरू होंगी परियोजनाएं
