प्रतीकात्मक तस्वीर | फाइल फोटो
कार बनाने वाली भारत की सबसे बड़ी कंपनी मारुति सुजुकी इंडिया लिमिटेड ने वित्त वर्ष 2024-25 की चौथी तिमाही (जनवरी-मार्च) के नतीजे घोषित किए हैं। कंपनी का स्टैंडअलोन शुद्ध मुनाफा सालाना आधार पर 4.3 प्रतिशत गिरकर 3,711 करोड़ रुपये रहा। यह मार्केट एक्सपर्ट्स की उम्मीदों से कम है। न्यूज वेबसाइट मनीकंट्रोल के एक सर्वे में अनुमान लगाया गया था कि कंपनी का मुनाफा 1 प्रतिशत गिरकर 3,852 करोड़ रुपये रह सकता है। इसके अलावा, कंपनी ने वित्त वर्ष 2024-25 के लिए प्रति शेयर 135 रुपये का अंतिम डिविडेंड भी घोषित किया।
मारुति सुजुकी की परिचालन आय में इस तिमाही में 6.4 प्रतिशत की बढ़ोतरी देखी गई। कंपनी की आय 38,235 करोड़ रुपये से बढ़कर 40,674 करोड़ रुपये हो गई। हालांकि, कंपनी का परिचालन प्रदर्शन कमजोर रहा। कंपनी का EBITDA (एबिट्डा) 9 प्रतिशत गिरकर 4,685 करोड़ रुपये से 4,264 करोड़ रुपये पर आ गया। एबिट्डा मार्जिन भी 12.3 प्रतिशत से घटकर 10.5 प्रतिशत रह गया, जो 150 बेसिस पॉइंट की कमी दर्शाता है। विश्लेषकों ने पहले ही अनुमान लगाया था कि ज्यादा विज्ञापन खर्च और डिस्काउंट के कारण मारुति के मार्जिन पर दबाव पड़ सकता है।
नतीजों के ऐलान के बाद मारुति सुजुकी के शेयरों में गिरावट देखी गई। नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (NSE) पर कंपनी का शेयर 1 प्रतिशत से ज्यादा गिरकर 11,771 रुपये पर कारोबार कर रहा था। यह गिरावट नतीजों के बाद निवेशकों की निराशा को दर्शाती है।
मारुति सुजुकी के ये नतीजे भारतीय ऑटोमोबाइल सेक्टर के लिए भी महत्वपूर्ण हैं, क्योंकि कंपनी बाजार में अग्रणी है। कंपनी के कमजोर प्रदर्शन ने निवेशकों और विश्लेषकों के बीच चिंता बढ़ा दी है। भविष्य में कंपनी की रणनीति और बाजार की मांग पर सभी की नजर रहेगी।