गो फर्स्ट ने आज अपने दिवालिया आवेदन पर तत्काल सुनवाई करने पर जोर दिया और 15 मई तक के लिए नई बुकिंग लेनी बंद कर दी है। गो फर्स्ट के मुख्य कार्याधिकारी कौशिक खोना ने एक समाचार चैनल को बताया, ‘गो फर्स्ट ने 3 से 5 मई तक की उड़ाने रद्द कर दी हैं और 6 से 15 मई तक के लिए हमने नई बुकिंग भी बंद कर दी। राष्ट्रीय कंपनी विधि पंचाट (NCLT) में आवेदन स्वीकार होने और मॉरेटोरियम उपलब्ध होते ही परिचालन जल्द से जल्द शुरू कर देंगे।’
विमानों को पट्टा पर देने वाली फर्मों द्वारा अपने विमानों को सुरक्षित करने के लिए कदम उठाए जाने के बाद यात्रियों को होने वाली असुविधा को कम करने के लिए यह पहल की गई है। अमेरिका की कम से कम दो पट्टा कंपनियों ने नागर विमानन महानिदेशालय के पास गो फर्स्ट को पट्टे पर दिए गए तीन एयरबस ए320 विमान का पंजीकरण खत्म करने का आवेदन किया है। पट्टा कंपनियां पट्टा अनुबंध निलंबित करने का नोटिस भी भेज रही हैं क्योंकि गो फर्स्ट को भुगतान करने में चुनौती का सामना करना पड़ रहा है।
गो फर्स्ट के वकीलों ने राष्ट्रीय कंपनी विधि पंचाट (NCLT) से अपने आवेदन स्वीकार करने, समाधान पेशेवर नियुक्त करने और कंपनी की परिसंपत्तियों की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए मॉरेटोरियम घोषित करने का आग्रह किया। गो फर्स्ट की याचिका पर गुरुवार को सुनवाई होगी।
गो फर्स्ट द्वारा स्वैच्छिक तौर पर दिवालिया आवेदन करने से कंपनी के ऋणदाता और वरिष्ठ बैंकर बुधवार से ही अगले कदम की तैयारियों में जुट गए थे। बिना कोई जानकारी के अचानक उड़ानें रद्द करने की वजह से नागर विमानन महानिदेशालय ( डीजीसीए) ने विमानन कंपनी को कारण बताओ नोटिस भी भेजा है। देर शाम तक डीजीसीए से विमानन कंपनी के जवाब और नियामकीय कार्रवाई के बारे में कोई जानकारी नहीं मिली थी।
गो फर्स्ट ने अपने दिवालिया आवेदन में कहा है कि उस पर वित्तीय ऋणदाताओं के 6,521 करोड़ रुपये बकाया हैं। हालांकि अभी तक उसने कोई देनदारी में चूक नहीं की है। लेकिन विमानन कंपनी की मौजूदा स्थिति को ध्यान में रखते हुए बैंकों के भुगतान में चूक होने की काफी आशंका है।
कंपनी ने इस कठिन कदम को उठाने के पीछे इंजन विनिर्माता प्रैट ऐंड व्हिटनी को जिम्मेदार ठहराया है। इस बीच प्रैट ऐंड व्हिटनी ने कहा कि हम सभी ग्राहकों के निर्धारित आपूर्ति शेड्यूल को प्राथमिकता देते हैं। कंपनी गो फर्स्ट से संबंधित मध्यस्थता आदेश का भी पालन कर रही है।’