वॉलमार्ट के स्वामित्व वाली कंपनी फ्लिपकार्ट मुनाफे को ध्यान में रख रही है और इस हेतु वह अपने प्रयास तेज कर रही है। आईपीओ लाने की तैयारी कर रही कंपनी लगभग 60 अरब डॉलर के मूल्यांकन पर ध्यान केंद्रित कर रही है और इस साल के बजाय 2025-26 में सूचीबद्धता की योजना बनाई है। घटनाक्रम से अवगत सूत्रों का कहना है कि कंपनी अमेरिका या भारत समेत अन्य देशों में सूचीबद्ध होने की संभावना तलाश सकती है।
एमेजॉन, रिलायंस की जियोमार्ट और टाटा से प्रतिस्पर्धा करने वाली फ्लिपकार्ट भारत में उभरते ई-कॉमर्स बाजार का लाभ उठाना चाहती है। कंपनी ने 2022-2023 में आईपीओ लाने की योजना बनाई थी, लेकिन विपरीत वित्तीय स्थिति और वृहद आर्थिक अनिश्चितता की वजह से इसे टाल दिया था।
फ्लिपकार्ट की आईपीओ योजना से अवगत एक व्यक्ति ने कहा, ‘अपने आईपीओ के लिए कंपनी यह सुनिश्चित करने की कोशिश तेज कर रही है कि वह मुनाफे में आ सके और इस दिशा में तेजी से बढ़ रही है। कंपनी ने अपने एबिटा में बड़ा सुधार किया है।’
ई-कॉमर्स दिग्गज की मार्केटप्लेस इकाई फ्लिपकार्ट इंटरनेट ने वित्त वर्ष 2023 में परिचालन राजस्व में 42 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की। वित्त वर्ष 2023 के लिए उसका परिचालन राजस्व 14,845 करोड़ रुपये रहा। बिजनेस इंटेलीजेंस प्लेटफॉर्म टॉफलर के आंकड़ों के अनुसार कुल नुकसान 9 प्रतिशत घटकर 4,026 करोड़ रुपये
रह गया।
वित्त वर्ष 2023 में कुल खर्च 26 प्रतिशत बढ़कर 19,043 करोड़ रुपये रहा। कर्मचारी लाभ खर्च 4,482 करोड़ रुपये था। यह पिछली अवधि के 3,735 करोड़ रुपये की तुलना में अधिक है। कंपनी ने वित्त वर्ष 2023 लॉजिस्टिक पर 6,571 करोड़ रुपये खर्च किए। यह पिछली अवधि के मुकाबले 30 प्रतिशत की वृद्धि है। विज्ञापन और प्रोत्साहन खर्च 1,945 करोड़ रुपये की तुलना में बढ़कर 2,407 करोड़ रुपये हो गया।
बेंगलूरु स्थित इस फर्म ने वित्त वर्ष 2022 में 10,477 करोड़ रुपये का परिचालन लाभ और 4,419 करोड़ रुपये का शुद्ध नुकसान दर्ज किया था। टॉफलर के आंकड़ों से पता चलता है कि लॉजिस्टिक सेवाओं से फ्लिपकार्ट की आय वित्त वर्ष 2023 में 50 प्रतिशत बढ़कर 5,789 करोड़ रुपये हो गई।
उसने वित्त वर्ष 2023 मार्केटप्लेस सेवाओं की पेशकश से अन्य 3,713 करोड़ रुपये कमाए। यह वित्त वर्ष 2022 के मुकाबले 32 प्रतिशत अधिक है। विज्ञापन राजस्व वित्त वर्ष 2023 में 3,324 करोड़ रुपये पर रहा। यह पिछली अवधि के 2,083 करोड़ रुपये की तुलना में ज्यादा है। इस मामले से अवगत एक व्यक्ति ने कहा, ‘फ्लिपकार्ट को आईपीओ लाने से पहले लाभ में आने की जरूरत होगी, जो अभी भी चुनौतीपूर्ण है।’
उद्योग के अधिकारियों का कहना है कि 2021 में नुकसान में रहे स्टार्टअप के कई आईपीओ आए थे, क्योंकि बाजार में तेजी बनी हुई थी। लेकिन बाजार उनके लिए अनुकूल साबित नहीं हुआ, यही वजह है कि कंपनियां अपने आईपीओ लाने से पहले मुनाफे में आना चाहेंगी। आईपीओ के संबंध में फ्लिपकार्ट को भेजे गए ईमेल संदेश का जवाब नहीं मिला है। कंपनी के मौजूदा कर्मचारियों की संख्या करीब 22,000 है।