छत्तीसगढ़ में एनटीपीसी की परियोजना लटकी

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बीएस संवाददाता
Last Updated- December 05, 2022 | 4:29 PM IST

गर्मी के मौसम में बिजली संकट पैदा होना तय है। ऐसे में छत्तीसगढ़ में 12,000 करोड़ रुपये लागत वाली बिजली परियोजना का लंबित होना चिन्ता की बात है। राज्य सरकार द्वारा जल आपूर्ति करने की प्रतिबध्दता पूरी नहीं करने के कारण ऐसा हो रहा है।



एनटीपीसी के अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक टी शंकरलिंगम ने बताया कि कंपनी को पहले चरण के तहत 500 मेगावाट क्षमता वाली इकाई पिछले साल अक्तूबर में शुरू कर देनी थी लेकिन छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा जल की आपूर्ति की प्रतिबध्दता से पीछे हटने के कारण परियोजना अटक गई है।



उन्होंने कहा कि ‘राज्य सरकार के साथ जलापूर्ति का मुद्दा सुलझ नहीं पाने के कारण पांच महीने की देरी हो चुकी है।’
उन्होंने कहा कि पांच सौ मेगावाट की दूसरी इकाई इसी महीने या अप्रैल में शुरू की जानी थी ताकि महाराष्ट्र, गोवा, मध्य प्रदेश, गुजरात और छत्तीसगढ़ में ग्रीष्मकालीन बिजली मांग पूरी हो सके।


 लेकिन राज्य सरकार की ओर से विलंब के कारण हर महीने 19 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ। कोयला आधारित बिजली संयंत्र में पानी को गर्म कर भाप बनाई जाती है और फिर उससे बिजली पैदा होती है। पानी का इस्तेमाल कोयले की धुलाई में भी किया जाता है।

First Published : March 9, 2008 | 8:49 PM IST