बाजार

रुनाया IPO के लिए तैयार, दीपक बिल्डर्स ने दस्तावेज जमा किए, एस्टर ने दिया 118 रुपये का विशेष लाभांश

IPO: रुनाया ने 300 करोड़ रुपये का निवेश आकर्षित किया है।

Published by
भाषा   
Last Updated- April 15, 2024 | 11:21 PM IST

वेदांत के कार्यकारी वाइस चेयरमैन नवीन अग्रवाल के दो बेटों की धातु रीसाइकलिंग स्टार्टअप रुनाया ने आरंभिक सार्वजनिक निर्गम (आईपीओ) के लिए सभी कागजी कार्यवाही पूरी कर ली है और उसे केवल बैंकरों की हरी झंडी का इंतजार है।

रुनाया के सह-संस्थापकों में से एक एवं मुख्य कार्याधिकारी (सीईओ) अनन्या अग्रवाल ने कहा, ‘ कागजी कार्यवाही की बात करें तो हम तैयार हैं। हम पूरी तरह तैयार हैं।’ हालांकि, आरंभिक सार्वजनिक निर्गम (आईपीओ) योजना को लेकर कंपनी के पास अभी तक कोई समयसीमा या तारीख नहीं है।

अग्रवाल ने कहा, ‘हम अपनी कंपनी बनाने पर ध्यान केंद्रित कर रहे हैं, निष्पादन के दृष्टिकोण से हम तैयार रहने की कोशिश करते हैं। हम तैयार रहना चाहते हैं और हम सबसे अच्छी कंपनी बनाना चाहते हैं और जब हमारे बैंकर हमें बताते हैं कि यह (आईपीओ के लिए) सही समय है, तब हम आगे बढ़ेंगे।’

रुनाया में पहले ही करीब 300 करोड़ रुपये का निवेश हो चुका है। कारोबार के विस्तार के लिए अगले 18-20 महीने में अतिरिक्त 700 करोड़ रुपये लगाने की योजना है। उन्होंने कहा, ‘इस (700 करोड़ रुपये के निवेश) में हमारे एल्युमीनियम ड्रॉस का विस्तार शामिल होगा। इसमें हमारे जिंक का विस्तार शामिल होगा।’’

मुंबई की कंपनी ने पिछले वित्त वर्ष 2023-24 में 57,377 टन कचरे की रीसाइकलिंग की और 24,391 टन हरित धातु का उत्पादन किया था। कंपनी को चालू वित्त वर्ष 2024-25 में अपना राजस्व 1,200 करोड़ रुपये और अगले वित्त वर्ष 2025-26 में 2,000 करोड़ रुपये तक पहुंचने की उम्मीद है।

दीपक बिल्डर्स ने आईपीओ दस्तावेज जमा कराए

इंजीनियरिंग एवं निर्माण कंपनी दीपक बिल्डर्स ऐंड इंजीनियर्स इंडिया लिमिटेड ने आरंभिक सार्वजनिक निर्गम (आईपीओ) के जरिये धन जुटाने के लिए पूंजी बाजार नियामक सेबी के पास दस्तावेज दाखिल कराए हैं। दीपक बिल्डर्स चालू वित्त वर्ष (2024-25) में आईपीओ के लिए दस्तावेज जमा कराने वाली पहली कंपनी है।

दस्तावेजों के अनुसार, निर्गम में 1.2 करोड़ नए शेयर जारी किए जाएंगे और प्रवर्तक दीपक कुमार सिंघल तथा सुनीता सिंघल 24 लाख शेयरों की बिक्री पेशकश (ओएफएस) लाएंगे। फिलहाल शहर स्थित कंपनी में प्रवर्तकों तथा प्रवर्तक समूह की इकाइयों कह 100 फीसदी हिस्सेदारी है। कंपनी ने पिछले सप्ताह आईपीओ दस्तावेज दाखिल किए थे।

दस्तावेज के अनुसार, 95 करोड़ रुपये की धनराशि का इस्तेमाल कंपनी की कार्यशील पूंजी आवश्यकताओं के लिए और 30 करोड़ रुपये का उपयोग कर्ज चुकाने के लिए किया जाएगा। इसके अलावा एक हिस्से का इस्तेमाल सामान्य कंपनी कामकाज के लिए किया जाएगा।

एस्टर ने प्रति शेयर 118 रुपये के विशेष लाभांश की दी मंजूरी

एस्टर डीएम हेल्थकेयर के निदेशक मंडल ने जीसीसी व्यवसाय की बिक्री से प्राप्त आय में से प्रति शेयर 118 रुपये का विशेष लाभांश देने को मंजूरी दे दी है। कंपनी बयान के अनुसार, शेयरधारकों को विशेष लाभांश का भुगतान 23 अप्रैल 2024 तक किया जाएगा।

इतने बड़े लाभांश के बावजूद कंपनी के पास जीसीसी व्यवसाय की बिक्री से मिले 1,500 करोड़ रुपये तब भी बचे रहेंगे। एस्टर डीएम हेल्थकेयर ने हाल ही में अपने भारत और जीसीसी व्यवसायों को अलग करने का फैसला किया था। इसके बाद कंपनी की पूर्ण सहायक कंपनी एफिनिटी होल्डिंग्स लिमिटेड को 90.76 करोड़ अमेरिकी डॉलर नकद मिले थे।

First Published : April 15, 2024 | 11:21 PM IST (बिजनेस स्टैंडर्ड के स्टाफ ने इस रिपोर्ट की हेडलाइन और फोटो ही बदली है, बाकी खबर एक साझा समाचार स्रोत से बिना किसी बदलाव के प्रकाशित हुई है।)