राजमार्ग क्षेत्र को मार्च के बाद वित्तीय राहत नहीं

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बीएस संवाददाता
Last Updated- December 11, 2022 | 8:52 PM IST

राजमार्ग परियोजनाओं के लिए बुनियादी ढांचा क्षेत्र को केंद्र सरकार की ओर से मिली कोविड-19 से जुड़ी राहत अब जारी रहने की संभावना नहीं है। इस माह के अंत तक इसे खत्म किया जा सकता है। सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय का विचार है कि महामारी का असर अब खत्म हो गया है और उद्योग ने आगे कोई राहत नहीं मांगी है। ऐसे में इन राहतों को वित्त वर्ष के अंत तक खत्म किया जा सकता है।
महामारी के दो साल के दौरान राहत के लिए लाए गए प्रोत्साहनों की समयावधि 31 मार्च को खत्म हो रही है। इस क्षेत्र के नकदी के संकट को कम करने के लिए प्रावधान लाए गए थे, जब बुनियादी ढांचा कंपनियां परियोजनाओं पर काम करने को लेकर अक्षमता जता रहे थे। जनवरी में मंत्रालय ने प्रदर्शन प्रतिभूति में कमी की अवधि मार्च 2022 तक के लिए बढ़ा दिया था। यह राशि कॉन्ट्रैक्ट मूल्य का 3 प्रतिशत कर दिया गया था, जो पहले 5-10 प्रतिशत था। प्रदर्शन प्रतिभूति राजमार्ग परियोजनाओं के सफल बोलीकर्ता से हासिल किया जाता है, जिससे कॉन्ट्रैक्ट का प्रदर्शन सुनिश्तित किया जा सके।
साथ ही देरी को लेकर कुछ जुर्माने माफ किए गए थे और टोलिंग कॉन्ट्रैक्ट में घटे टोल कलेक्शन का हर्जाना घटा दिया गया था। मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारियों ने कहा कि इन राहत कदमों को आगे बढ़ाने का कोई प्रस्ताव नहीं है।
फरवरी में मंत्रालय ने इस सेक्टर को दी गई वित्तीय राहतों को सामान्य करना शुरू किया था और अन्स्र्ट मनी डिपॉजिट (ईएमडी) मानकों को बहाल कर दिया था। मंत्रालय ने एक सर्कुलर में कहा था, ‘अब ईएमडी जमा नहीं है, ऐसे में बोलीकर्ता बोली में असामान्य रूप से कम बोली लगा रहे हैं। और बोली हासिल करने के बाद वे सब-कॉन्ट्रैक्टर ढूंढना शुरू करते हैं।’ साथ ही कहा गया है कि इससे अहम परियोजनाएं अटक सकती हैं, या उनमें देरी हो सकती है। इसमें यह भी कहा गया है कि इस सेक्टर पर महामारी का असर सामान्य हो चुका है। ईएमडी टेंडर के लिए बोली दाखिल करने वाले को वापस की जाने वाली राशि होती है, जिससे यह सुनिश्चित हो सके कि गंभीर कारोबारी ही हिस्सा ले रहे हैं और छद्म बोली नहीं लगाई जा रही है।
एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि उद्योग की ओर से इन राहतों की अवधि बढ़ाए जाने को लेकर कोई अनुरोध नहीं मिला है।
इस क्षेत्र के विशेषज्ञों का कहना है कि यह राहत कोविड-19 की समस्या में वित्तीय उपलब्धता के लिए दी गई थी। अब वित्तीय स्थिति तुलनात्मक रूप से सामान्य हो चुकी है और मझोले आकार के बोलीकर्ता आक्रामक रूप से बोली लगा रहे हैं और नए कारोबारी भी इसमें आक्रामक रूप से शामिल हो रहे हैं।
 

 

First Published : March 7, 2022 | 11:28 PM IST