पाकिस्तान के राष्ट्रपति आरिफ अल्वी ने आगामी आम चुनाव की तारीख तय करने के वास्ते बुधवार को देश के शीर्ष निर्वाचन अधिकारी को बैठक के लिए आमंत्रित किया। अल्वी ने मुख्य निर्वाचन आयुक्त सिकंदर सुल्तान राजा को पत्र लिखकर इस बात का हवाला दिया कि राष्ट्रपति के लिए संवैधानिक रूप से जरूरी है कि वह नेशनल एसेम्बली भंग होने के 90 दिनों के अंदर आम चुनाव की तिथि तय करें।
नेशनल एसेम्बली नौ अगस्त को भंग कर दी गयी जिसके बाद पाकिस्तान के निर्वाचन आयोग के लिए 90 दिनों के अंदर चुनाव कराना अनिवार्य है। लेकिन आयोग नयी जनगणना के आलोक में परिसीमन के वास्ते चुनाव देर से कराने के पक्ष में है।
परिसीमन भी संवैधानिक जरूरत है। राष्ट्रपति ने आम चुनाव के वास्ते ‘उपयुक्त तिथि तय करने की खातिर आज या कल बैठक’ करने के लिए मुख्य निर्वाचन आयुक्त को पत्र लिखा है। सोशल मीडिया मंच ‘एक्स’ (पूर्व में ट्विटर) पर राष्ट्रपति के एकाउंट से यह पत्र पोस्ट किया गया है।
अल्वी ने लिखा कि ‘‘ पाकिस्तान इस्लामी गणतंत्र के संविधान के अनुच्छेद 48 (5) के तहत राष्ट्रपति एसेम्बली के भंग होने के 90 दिनों के अंदर उसका चुनाव कराने की तारीख निर्धारित करने के दायित्व से बंधे हुए हैं।’’
बैठक के लिए राष्ट्रपति का निमंत्रण ऐसे समय आया है जब आयोग ने नयी परिसीमन प्रक्रिया की घोषणा की है।
आयोग के हिसाब से यह प्रक्रिया 14 दिसंबर तक पूरी होगी जिसके बाद चुनाव कार्यक्रम की घोषणा की जाएगी। आयोग की दुविधा है कि वह 90 दिनों में चुनाव कराने तथा नये चुनावी क्षेत्र तय करने के दोहरे दायित्व को एक साथ पूरा नहीं कर सकता।