Lok Sabha Elections 2024: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Modi) ने मंगलवार को कहा कि कांग्रेस अनुसूचित जाति (एससी) और अनुसूचित जनजाति (एसटी) के लिए तय कोटा में से मजहब के आधार पर मुसलमानों को आरक्षण देना चाहती थी। उन्होंने दोहराया कि विपक्षी दल ने लोगों का धन छीनकर एक ‘चुनिंदा’ समूह में बांटने की ‘गहरी साजिश’ रची है।
मोदी ने राजस्थान के टोंक में एक चुनावी सभा को संबोधित करते हुए कहा कि 2004 में जैसे ही कांग्रेस के नेतृत्व में संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन की सरकार बनी तब सबसे पहले आंध्र प्रदेश में अनुसूचित जाति-जनजाति (एससी-एसटी) के आरक्षण को कम कर मुसलमानों को आरक्षण देने का प्रयास किया गया था। मोदी ने दावा किया कि यह कांग्रेस की प्रायोगिक परियोजना थी जिसे पूरे देशभर में लागू करने का इरादा था।
उन्होंने कहा, ‘कांग्रेस ने वर्ष 2004 से 2010 के बीच में चार मौकों पर मुसलमानों के लिए आरक्षण लागू करने का प्रयास किया लेकिन पार्टी कानूनी बाधाओं और उच्चतम न्यायालय की जागरूकता के चलते ऐसा नहीं कर पाई।’ मोदी ने कहा, ‘मैं कांग्रेस से पूछना चाहता हूं कि क्या यह दलितों और पिछड़े आदिवासियों के आरक्षण में विभाजन कर इसे मुसलमानों को देगी।’
उन्होंने कहा कि कांग्रेस के कदमों ने यह दर्शाया कि यह न तो संविधान की और नहीं भीमराव आंबेडकर का सम्मान करती है लेकिन वह संविधान की रक्षा करने के लिए प्रतिबद्ध हैं। प्रधानमंत्री ने कहा, ‘कांग्रेस की इन साजिशों के बीच मोदी आपको गारंटी दे रहा है कि दलितों, पिछड़ों व आदिवासियों का आरक्षण खत्म नहीं होगा और न ही इसे धर्म के नाम पर विभाजित करने की अनुमति दी जाएगी।’
प्रधानमंत्री ने कहा कि रविवार को बांसवाड़ा की रैली में जब उन्होंने कांग्रेस के वोट बैंक और तुष्टीकरण की राजनीति का पर्दाफाश किया किया तब कांग्रेस ने उन्हें बुरा-भला कहना शुरू कर दिया और विपक्षी गठबंधन ‘इंडिया’ में भगदड़ मच गई। उन्होंने कहा, ‘मैंने देश के सामने यह सच्चाई रखी कि कांग्रेस आपकी संपत्ति को छीनकर चुनिंदा लोगों में बांटने की साजिश कर रही है।’
मोदी ने दावा किया, ‘उनके नेता ने एक भाषण में कहा कि संपत्ति का एक्स-रे होगा और इसे चुनिंदा लोगों में बांटा जाएगा। इसका अर्थ यह हुआ कि अगर कोई चीज किसी बॉक्स में रखी होगी या कहीं छिपाई गई होती तो इसे एक्स-रे के जरिये ढूंढा जाएगा।’
मोदी ने रविवार को बांसवाड़ा की एक जनसभा में पहले एक भाषण का हवाला दिया जिसे पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने 2006 में राष्ट्रीय विकास परिषद की एक बैठक में दिया था।
प्रधानमंत्री ने टोंक में कहा, ‘जब वह मुख्यमंत्री थे, तब तत्कालीन प्रधानमंत्री मनमोहन ने भाषण दिया था कि देश के संसाधनों पर पहला हक मुसलमानों का है। यह कोई संयोग नहीं था। यह कोई इकलौता बयान भी नहीं था। कांग्रेस की सोच हमेशा से तुष्टीकरण और वोटबैंक की राजनीति की रही है।’
बांसवाड़ा के अपने भाषण में प्रधानमंत्री ने आरोप लगाया कि कांग्रेस की योजना लोगों की संपत्ति को घुसपैठिये और उन लोगों में बांटने की थी जिनके ज्यादा बच्चे होते हैं। सोमवार को अलीगढ़ में दिए गए अपने भाषण में प्रधानमंत्री ने इन आरोपों को दोहराया लेकिन यह बात नहीं कही कि कांग्रेस का इरादा अल्पसंख्यक समुदाय के लिए संपत्ति का पुनर्वितरण करना है।
टोंक में प्रधानमंत्री ने कांग्रेस को चुनौती देते हुए कहा कि पार्टी खुले तौर पर इस बात की घोषणा करें कि अगर यह सत्ता में आती है तब दलितों और आदिवासियों के कोटे से मुसलमानों को आरक्षण देगी। उन्होंने कहा कि कर्नाटक में भाजपा सरकार ने मुसलमानों का आरक्षण खत्म कर दिया था।
बाद में छत्तीसगढ़ में एक जनसभा को संबोधित करते हुए मोदी ने कांग्रेस पर कटाक्ष करते हुए गोवा के एक उम्मीदवार के कथित बयान को लेकर हमला बोलते हुए कहा कि कांग्रेस देश को तोड़ना चाहती है।
राजस्थान में प्रधानमंत्री मोदी की यह आखिरी चुनावी रैली थी। राज्य में कुल 25 लोक सभा सीट हैं। इनमें से 12 के लिए 19 अप्रैल को मतदान हुआ था। बाकी बची 13 सीटों के लिए 26 अप्रैल को मतदान होगा।
(साथ में एजेंसियां)