जाइडस लाइफसाइंसेज ने 75 मिलीग्राम और 150 मिलीग्राम वाली अवसाद रोधी दवा वेनलाफैक्सिन एक्सटेंडेड-रिलीज (ईआर) कैप्सूल के लिए चीन के राष्ट्रीय चिकित्सा उत्पाद प्रशासन (एनएमपीए) से मंजूरी हासिल कर ली है। इसी के साथ कंपनी ने चीन के दवा बाजार में कदम रख दिया है। समूह को चीन में यह पहली मंजूरी मिली है जो इसके वैश्विक विस्तार की नई राह खोलती है।
मेजर डिप्रेसिव विकार (एमडीडी), सामान्य चिंता विकार (जीएडी), सामाजिक चिंता विकार (एसएडी) और दहशत विकार (पीडी) के लिए वेनलाफैक्सिन ईआर कैप्सूलों की सलाह दी जाती हैं। यह दवा मस्तिष्क में सेरोटोनिन और नॉरएपिनेफ्रिन का संतुलन बहाल करने, मनोदशा में सुधार और चिंता कम करने में मदद करती है, जिससे मानसिक स्वास्थ्य देखभाल की अहम जरूरत पूरी होती है। इस कैप्सूल का विनिर्माण अहमदाबाद में जाइडस के मोरैया संयंत्र में किया जाएगा।
चीन में वेनलाफैक्सिन का बाजार साल 2020 में 29.4 करोड़ चीनी युआन रेनमिनबी (लगभग 4.52 करोड़ डॉलर) आंका गया था। साल 2025 तक इसके 47.363 करोड़ चीनी युआन रेनमिनबी तक पहुंचने का अनुमान है। यह बाजार 8.8 प्रतिशत की सालान चक्रवृद्धि दर (सीएजीआर) से बढ़ रहा है। इसे बढ़ती अवसाद दर, बढ़ते शहरीकरण और कोविड-19 के बाद स्वास्थ्य सेवाओं में सुधार से बढ़ावा मिल रहा है।
जाइडस चीन में व्यवसायीकरण में तेजी लाने के लिए रणनीतिक साझेदारी और स्थानीय सहयोग का लाभ उठाने की योजना बना रही है, ताकि यह सुनिश्चित हो सके कि यह दवाइयां मरीजों तक सुव्यवस्थित रूप से पहुंचे। यह मंजूरी नियमन वाले तरराष्ट्रीय बाजारों में अपनी उपस्थिति का विस्तार करने की जाइडस की रणनीति के अनुरूप है।
इस बीच कंपनी ने हाल में संकेत दिया है कि उसने क्रोनिक किडनी रोग (सीकेडी) के रोगियों में एनीमिया के इलाज के लिए मुंह से ली जाने वाली नई दवा डेसिडुस्टैट के क्लीनिकल परीक्षण चीन में पूरे कर लिए हैं और अपने चीनी साझेदार के साथ इसकी व्यावसायिक शुरुआत की तैयारी कर रही है।