भारतीय स्टार्टअप कंपनियों की रकम जुटाने की रफ्तार भले ही सुस्त दिख रही हो और बड़ी स्टार्टअप कंपनियों की कीमत घट रही है मगर प्रमुख वैश्विक निवेश कंपनी सिकोया कैपिटल (Sequoia Capital) भारत में नई स्टार्टअप कंपनियों पर बड़ा दांव लगा रही है।
चालू कैलेंडर वर्ष की पहली तिमाही में नई स्टार्टअप कंपनियां केवल 84.4 करोड़ डॉलर जुटा पाईं, जो पिछले वित्त वर्ष की पहली तिमाही से करीब 68 फीसदी कम है। लेकिन सिकोया दक्षिण पूर्व एशिया के सर्ज पार्टनर आनंदमय रायचौधरी ने कहा कि नई स्टार्टअप कंपनियों में हमारा निवेश पहले जैसा ही है।
रायचौधरी ने कहा कि सिकोया अभी भी नई स्टार्टअप कंपनियों में निवेश के लिए उत्साहित है। कंपनी की विशेष तौर पर आर्टिफिशल इंटेलिजेंस (AI), डीप टेक्नोलॉजी (डीप टेक) और सेमीकंडक्टर जैसे क्षेत्रों में दिलचस्पी है।
रायचौधरी ने इलेक्ट्रॉनिक एवं सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय द्वारा आयोजित सेमीकॉनइंडिया फ्यूचर डिजाइन रोड शो के दौरान बिज़नेस स्टैंडर्ड से कहा, ‘नई स्टार्टअप कंपनियों में निवेश हमारी प्रमुख रणनीति है। मुझे लगता है कि अगले कुछ वर्षों में एआई सबसे दमदार क्षेत्र होगा मगर सेमीकंडक्टर और डीप टेक भी उसके आसपास ही रहेंगे।’
रायचौधरी ने कहा कि सेमीकंडक्टर स्टार्टअप कंपनियों के लिए सरकारी मदद से बड़े पैमाने पर कंपनियां आएंगी, जो निवेश के लिए काफी उत्साहजनक अवसर होगा। उन्होंने कहा कि यह भारत में स्टार्टअप के लिए एक नया अध्याय होगा।
डिजाइन से जुड़ी प्रोत्साहन योजना के तहत सरकार करीब 27 स्टार्टअप कंपनियों के लिए 1,200 करोड़ रुपये का आवंटन पहले ही कर चुकी है।
सूचना प्रौद्योगिकी राज्य मंत्री राजीव चंद्रशेखर ने कहा है कि सेमीकंडक्टर डिजाइन क्षेत्र में स्टार्टअप के लिए काफी संभावनाएं हैं। उन्होंने कहा कि इस क्षेत्र में सरकारी मदद के लिए अलावा काफी निवेश हो रहा है।
रायचौधरी ने कहा, ‘हमारी नजर प्रौद्योगिकी में ठोस उन्नति पर है। यह एक ऐसी अवधारण है जो निवेश करते समय काफी महत्त्वपूर्ण होती है। हम ऐसी जगह निवेश नहीं करना चाहते हैं जो केवल सरकारी मदद पर निर्भर हो। बल्कि हम ऐसी जगह निवेश करना चाहते हैं जो अपने दम पर मुकाम हासिल कर सके।’
कैलिफोर्निया की निवेश कंपनी ने पिछले साल जून में अपने सबसे बड़े क्षेत्र- भारत एवं दक्षिण पूर्व एशिया की स्टार्टअप कंपनियों में निवेश के लिए 2.85 अरब डॉलर की भारी भरकम रकम जुटाई थी। भारतीय उद्यमों और ग्रोथ फंडों के लिए करीब 2 अरब डॉलर कंपनी ने आवंटित किए थे।