भारतीय जीवन बीमा निगम (एलआईसी) का शेयर बाजार में पहले ही दिन अपनी निर्गम कीमत के मुकाबले 8 फीसदी फिसलकर बंद हुआ। कंपनी का शेयर 873 रुपये पर बंद हुआ, जबकि आरंभिक सार्वजनिक निर्गम (आईपीओ) में कीमत 949 रुपये प्रति शेयर रखी गई थी। आज के बंद भाव के हिसाब से एलआईसी का मूल्यांकन 5,53,722 करोड़ रुपये (5.54 लाख करोड़ रुपये) है। इस तरह बाजार पूंजीकरण के लिहाज से यह देश की पांचवीं सबसे बड़ी कंपनी बन गई है। एलआईसी अब इन्फोसिस (6.39 लाख करोड़ रुपये) से पीछे और आईसीआईसीआई बैंक (5.28 लाख करोड़ रुपये) से आगे है।
आज के कारोबारी सत्र में इस दिग्गज बीमा कंपनी का शेयर लुढ़ककर 860 रुपये तक गया और 920 रुपये तक चढ़ा। शेयर अपनी निर्गम कीमत के नजदीक नहीं आया मगर 920 रुपये के भाव पर छोटे निवेशकों को मामूली मुनाफा कमाकर निकले का मौका मिला था। खुदरा निवेशकों ने आईपीओ में 10,839 करोड़ रुपये के शेयरों की बोली लगाई थी। उन्हें 905 रुपये पर शेयर आवंटित किए गए थे। एलआईसी के पॉलिसीधारकों ने 10,669 करोड़ रुपये के शेयरों के लिए बोली लगाई थी, जिन्हें 889 रुपये प्रति शेयर की कीमत पर शेयर आवंटित किए गए थे।
पहले दिन करीब 4,600 करोड़ रुपये के शेयरों का लेनदेन हुआ। इससे पता चलता है कि आईपीओ में आवेदन करने वाले ज्यादातर खुदरा निवेशक अपना निवेश बनाए हुए हैं। आईपीओ में रिकॉर्ड 73 लाख आवेदन आए थे। रद्द हिुए आवेदनों को हटाने के बाद 61.3 लाख आवेदकों को शेयर आवंटित किए गए, जो घरेलू बाजार में किसी आईपीओ के लिए सबसे अधिक हैं। कुछ अधिकारियों का दावा है कि यह आंकड़ा वैश्विक स्तर पर भी सबसे अधिक है। बहरहाल उनमें से ज्यादातर के लिए अनुभव कड़वा रहा होगा क्योंकि सूचीबद्घ होते समय कीमत लाखों निवेशकों की उम्मीदों पर खरी नहीं उतरी। इन निवेेशकों में से बहुत से ऐसे भी हैं, जो आम तौर पर शेयर बाजार में निवेश पसंद नहीं करते हैं।
निवेश एवं सार्वजनिक परिसंपत्ति प्रबंधन विभाग (दीपम) के सचिव तुहिन कांत पांडे ने कहा, ‘एलआईसी का सूचीबद्घ होना ही अहम बात है। बाजार का अंदाजा कोई नहीं लगा सकता। हमारा कहना है कि शेयर किसी खास दिन के लिए नहीं बल्कि लंबे समय के लिए रखे जाने चाहिए। खुदरा निवेशकों को कुछ सुरक्षा मिली है क्योंकि उन्हें शेयर छूट पर दिए गए हैं।’एलआईसी ने पिछले महीने के आखिर में अपने आईपीओ की कीमत घोषित की थी, जिसके बाद वैश्विक मंदी की चिंता के कारण बाजारों में 8 फीसदी तक गिरावट आई है। एलआईसी के चेयरमैन एमआर कुमार ने कहा, ‘बाजारों में बहुत उठापटा थी और हमें बहुत ऊंचे भाव पर सूचीबद्घ होने की उम्मीद नहीं थी। मगर शेयर आगे चलकर चढ़ेेगा। कई निवेशक खास तौर पर आईपीओ में चूक गए पॉलिसीधारक अब द्वितीयक बाजार से शेयर खरीदने की फिराक में रहेंगे।’
एलआईसी के 20,557 करोड़ रुपये के आईपीओ को महज 2.95 गुना अभिदान मिला।