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Israel-Palestine conflict: इजरायल संघर्ष का दिखेगा असर; तेल उबलेगा, उद्योग का खर्च बढ़ेगा

ओएनजीसी व रिलायंस को कच्चे तेल के दाम में तेजी से होगा फायदा

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बीएस संवाददाता   
Last Updated- October 09, 2023 | 9:48 PM IST

Israel-Palestine conflict: प​श्चिम ए​शिया में इजरायल संघर्ष के बीच भारतीय उद्योग जगत ने चुनौतियों से निपटने की तैयारी शुरू कर दी है। ईंधन कीमतों में तेजी से सभी कंपनियों की लागत बढ़ने की आशंका है, जिससे महंगाई भी बढ़ सकती है। इजरायल पर हमास के हमले के बाद आज तेल की कीमतें चढ़ गईं और दुनिया भर के बाजारों में घबराहट पैदा हो गई।

अदाणी पोर्ट्स और सन फार्मास्युटिकल्स जैसी कुछ कंपनियों को छोड़ दिया जाए तो ज्यादार भारतीय कंपनियों का इजरायल से सीधा लेना-देना नहीं है। अदाणी पोर्ट्स ने इसी साल जनवरी में 1.2 अरब डॉलर में हाइफा पोर्ट्स का अधिग्रहण किया था और टारो फार्मास्युटिकल्स इंडस्ट्रीज में सन फार्मास्युटिकल्स की हिस्सेदारी है।

अदाणी पोर्ट्स ऐंड एसईजेड ने एक बयान में कहा है कि कंपनी अपने बंदरगाह पर करीबी नजर बनाए हुए है। कंपनी का बंदरगाह संघर्ष क्षेत्र से उत्तर दिशा में काफी दूर है। कंपनी जितना कार्गो संभालती है, उसमें हाइफा बंदरगाह की हिस्सेदारी महज 3 फीसदी है।

अदाणी पोर्ट्स ऐंड एसईजेड के प्रवक्ता ने कहा, ‘हमने चालू वित्त वर्ष में हाइफा बंदरगाह पर 1 से 1.2 करोड़ टन कार्गो संभालने का लक्ष्य रखा है और कंपनी कुल 37 से 39 करोड़ टन कार्गो संभालने की उम्मीद कर रही है। शुरुआती छह महीनों में कंपनी ने कुल 20.3 करोड़ टन कार्गो की आवाजाही संभाली, जिसमें हाइफा का योगदान महज 60 लाख टन था। हम अदाणी पोर्ट्स ऐंड एसईजेड के कारोबारी प्रदर्शन पर आश्वस्त हैं।’

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अदाणी पोर्ट्स ऐंड एसईजेड का शेयर आज 4.8 फीसदी गिरावट के साथ बंद हुआ। प्रवक्ता ने कहा, ‘हमने अपने कर्मचारियों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए सभी उपाय किए हैं और वे सभी महफूज हैं। कारोबार में रुकावट की आशंका दूर करने के लिए हम वैकल्पिक योजना के साथ पूरी तरह तैयार हैं। इससे हमें किसी भी हालात से कारगर तरीके से निपटने में मदद मिलेगी।’

सन फार्मास्युटिकल्स ने पूरे मामले पर कोई टिप्पणी नहीं कि मगर टारो ने 2023 में समाप्त वित्त वर्ष के दौरान 57.3 करोड़ डॉलर की बिक्री की थी। उसे 2.54 करोड़ डॉलर का मुनाफा भी हुआ था। कुछ भारतीय दवा कंपनियां अपना माल इजरायल भेजती हैं मगर विश्लेषकों के मुताबिक माल की मात्रा बहुत कम है। शीर्ष आईटी कंपनियों के अधिकारियों ने कहा कि भारतीय आईटी कंपनियों का इजरायल में कारोबार नहीं है।

बहरहाल ओएनजीसी और रिलायंस इंडस्ट्रीज जैसी भारतीय तेल एवं गैस उत्पादक कंपनियों को कच्चे तेल के दाम चढ़ने से काफी फायदा होगा। विश्लेषकों ने कहा कि तेल उत्पादक एवं अन्वेषण कारोबार से जुड़ी कंपनियों को कच्चे तेल की कीमतों में 5 प्रतिशत बढ़ोतरी से खासा लाभ होगा मगर ऊर्जा के इस्तेमाल पर अधिक निर्भर रहने वाली कंपनियों को चुनौतियों का सामना करना पड़ सकता है। सोमवार को ओएनजीसी का शेयर 181.8 रुपये पर सपाट बंद हुआ मगर ऑयल इंडिया 5.2 प्रतिशत मजबूत हुआ।

First Published : October 9, 2023 | 9:48 PM IST