उद्योग

बेमौसम बारिश का पड़ा रोजाना उपयोग वाली वस्तुओं पर असर, मई में मांग पड़ी सुस्त

मूल्य के संदर्भ में FMCG उत्पादों की बिक्री मई में पिछले साल की समान अव​धि के मुकाबले 1.4 प्रतिशत तक बढ़ी

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शार्लीन डिसूजा   
Last Updated- June 12, 2023 | 11:27 PM IST

FMCG उत्पादों के लिए मांग में कुछ सुधार दर्ज किया गया है। मई में इन उत्पादों की बिक्री में थोड़ी तेजी देखने को मिली, क्योंकि ग्रामीण मांग सकारात्मक बनी रही। इसके अलावा ब्रांडेड जिंस उत्पादों के लिए मांग भी मजबूत रही। मूल्य के संदर्भ में FMCG (रोजाना उपयोग की वस्तुएं) उत्पादों की बिक्री मई में पिछले साल की समान अव​धि के मुकाबले 1.4 प्रतिशत तक बढ़ी।

रिटेल इंटेलीजेंस प्लेटफॉर्म बिजोम के आंकड़े से पता चलता है कि इसके अलावा, ग्रामीण मांग भी मई में पिछले साल की तुलना में 2.2 प्रतिशत पर रही।

दूसरी तरफ, शहरी मांग में 0.6 प्रतिशत की कमजोरी दर्ज की गई। यह गिरावट मुख्य तौर पर बड़े शहरों (जिनकी आबादी 50 लाख से ज्यादा हो) में देखी गई, जहां मांग पिछले साल के समान महीने के मुकाबले 1.1 प्रतिशत तक घट गई।

अप्रैल में, FMCG उत्पादों के लिए कुल मांग 8.4 प्रतिशत घट गई थी, क्योंकि ग्रामीण और शहरी मांग, दोनों पर प्रभाव पड़ा था।

बिजोम का कहना है कि शीतल पेय जैसे उत्पादों की कम स्टॉकिंग की वजह से FMCG बिक्री मई में पिछले साल की तुलना में मामूली बढ़ गई। बिजोम के प्रमुख (ग्रोथ एंड इनसाइट्स) अक्षय डिसूजा ने बिजनेस स्टैंडर्ड को बताया, ‘ऐसा मुख्य तौर पर इसलिए हुआ क्योंकि बेमौसम बारिश से भारत में तापमान घट गया। इससे शीतल पेय पदार्थों की बिक्री पर दबाव देखा गया। उत्तर, मध्य और प​श्चिम भारत तथा द​क्षिण भारत के कुछ हिस्सों में भी कई जिलों में बारिश दर्ज की गई।’

बेवरेज की बिक्री मई में काफी हद तक प्रभावित हुई, क्योंकि पिछले साल के मुकाबले यह 29.4 प्रतिशत तक घट गई थी। बिक्री पर दबाव के लिहाज से यह सबसे ज्यादा प्रभावित श्रेणी रही।

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उन्होंने कहा, ‘तापमान घटने से गर्मी में ज्यादा बिकने वाले उत्पादों की बिक्री प्रभावित हुई, मुख्य तौर पर स्टॉकिंग में पिछले वर्षों के मुकाबले बड़ी कमी आई है। प्रमुख प्रभावित श्रे​णियों में बेवरेज शामिल है, जिसमें करीब 50-60 प्रतिशत बिक्री मार्च-जून के महीनों के दौरान होती है।’

ब्रांडेड जिंसों (गेहूं का आटा, खाद्य तेल आदि) की बिक्री पिछले साल मई के मुकाबले 23 प्रतिशत तक बढ़ गई। डिसूजा का कहना है कि पिछले साल बिजोम ने यह महसूस किया था कि ग्राहकों ने महंगाई बढ़ने की वजह से छोटे आकार के पैकेट खरीदने शुरू कर दिए।

पर्सनल केयर और कन्फ्रेक्शनरी उत्पादों की बिक्री भी मई में प्रभावित हुई। डिसूजा ने कहा, ‘कन्फेक्शनरी उत्पादों की बिक्री जून से बढ़ने का अनुमान है, क्योंकि तब स्कूल और कॉलेज फिर से खुलने लगते हैं। पर्सनल केयर उत्पादों की बिक्री पर अभी दबाव देखा जा रहा है, क्योंकि उपभोक्ता खर्च जरूरी उत्पाद खरीदारी पर केंद्रित बना हुआ है।’

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बिजोम के आंकड़ों से यह भी पता चलता है कि सक्रिय किराना आउटलेटों की संख्या सालाना आधार पर 2.9 प्रतिशत तक बढ़ी, लेकिन प्रति किराना स्टोर स्टॉकिंग में 1.5 प्रतिशत की कमी आई।

पारले प्रोडक्ट्स में वरिष्ठ श्रेणी प्रमुख मयंक शाह ने कहा, ‘ग्रामीण मांग में सुधार आया है। ग्रामीण इलाकों में मई में बिक्री 2.5-3 प्रतिशत बढ़ी और मूल्य वृद्धि करीब 5-6 प्रतिशत रही। हमारा मानना है कि मांग में सुधार बना रहेगा।’

First Published : June 12, 2023 | 9:06 PM IST