चालू सीजन में अब पहले से ज्यादा सोयाबीन की पेराई होने की संभावना है क्योंकि इसका उत्पादन पहले लगाए गए अनुमान से ज्यादा हो सकता है। पेराई ज्यादा होने से सोयाबीन खली का निर्यात भी पहले से अधिक होने की संभावना है।
अब 24.70 फीसदी ज्यादा होगी पेराई, पहले 19 फीसदी का था अनुमान
सोयाबीन प्रोसेसर्स एसोसिएशन ऑफ इंडिया(सोपा) ने पहले करीब 120 लाख टन सोयाबीन उत्पादन का अनुमान लगाया था। लेकिन अब इसे बढ़ाकर करीब 124 लाख टन कर दिया है। ज्यादा उत्पादन होने से सोयाबीन की पेराई भी अब पहले से बढ़ने की संभावना है। पहले सोयाबीन के 120 लाख उत्पादन में से 100 लाख टन पेराई के लिए उपलब्ध होने का अनुमान लगाया गया था। अब इसे बढ़ाकर 105 लाख टन कर दिया है। यह पिछले साल 84 लाख टन उपलब्धता से 25 फीसदी अधिक है। 25 लाख टन कैरीओवर स्टॉक व आयात मिलाकर कुल उपलब्धता करीब 141 लाख टन रहने का अनुमान है, जो पिछले साल की कुल उपलब्धता करीब 113 लाख टन से 24.77 फीसदी अधिक है।
अप्रैल तक पेराई करीब 46 फीसदी 71.50 लाख टन हुई
चालू तेल वर्ष में सोयाबीन की खूब पेराई हो रही है। तेल वर्ष की अक्टूबर-अप्रैल अवधि में 71.50 लाख टन सोयाबीन की पेराई हो चुकी है, जो पिछली समान अवधि में हुई 49 लाख टन पेराई से करीब 46 फीसदी अधिक है। अप्रैल महीने में 10 लाख टन सोयाबीन की पेराई हुई है, जो पिछले साल के इसी महीने में हुई 7 लाख टन पेराई से 42.85 फीसदी अधिक है। अप्रैल में मार्च से भी ज्यादा पेराई हुई है।
17 लाख टन तक पहुंच सकता है सोयाबीन खली का निर्यात
सोयाबीन का उत्पादन बढ़ने का असर इसकी खली के निर्यात पर भी पड़ सकता है। उत्पादन बढ़ने से पेराई ज्यादा होने वाली है। इससे सोयाबीन खली का निर्यात भी अब पहले से ज्यादा होने की संभावना है। पहले 14 लाख टन सोयाबीन खली का निर्यात होने का अनुमान लगाया गया था। सोपा के मुताबिक अब 17 लाख टन सोयाबीन खली का निर्यात हो सकता है। जो पहले के अनुमान से करीब 21 फीसदी अधिक है।