देश ने आज कोविड टीके की एक अरब खुराक लगाने की उपलब्धि हासिल कर ली, जिसमें 9 महीने से थोड़ा ही अधिक समय लगा है। इस मौके पर लाल किले पर सबसे बड़ा राष्ट्रध्वज फहराया गया और विभिन्न राज्यों के ऐतिहासिक स्मारकों को तिरंगे से जगमगाया गया। भारत ने अब तक चीन के बाद दूसरी सबसे अधिक खुराक लगाई हैं। कहा जा रहा है कि चीन अपने नागरिकों को अब तक 2.2 अरब खुराक लगा चुका है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने एक ट्वीट में कहा, ‘आज का दिन यानी 21 अक्टूबर इतिहास में दर्ज हो गया है। हमें सदी की महामारी से बचाने के लिए देश को 100 करोड़ खुराकों का सुरक्षा कवच मिल गया है।’
देश की करीब 31 फीसदी वयस्क आबादी का पूर्ण टीकाकरण हो गया है, जबकि 75 फीसदी आबादी को पहली खुराक लग गई है। स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मंडाविया ने वैक्सीन सेंचुरी हैशटैग के साथ ट्वीट करते हुए कहा, ‘बधाई भारत! हमने 100 करोड़ कोविड-19 टीकाकरण खुराकों की अहम उपलब्धि हासिल कर ली। हमारे कोविड योद्धाओं, हमारे स्वास्थ्य एवं अग्रिम पंक्ति के कार्मिकों का अभिनंदन, जिन्होंने हमें यह मुकाम हासिल करने में मदद करने के लिए दिन-रात मेहनत की।’
भारत 1 अरब खुराक के आंकड़े पर पहुंच चुका है। हालांकि रोजाना खुराक लगाने का औसत सुस्त पड़ा है। यह अगस्त के आखिर में सात दिन के औसत के आधार पर 84 लाख प्रतिदिन था, मगर अब घटकर करीब 50 लाख पर आ गया है। अब आगे यह सुनिश्चित करना चुनौती है कि हर व्यक्ति समय पर अपनी दूसरी खुराक लगवाए। केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव राजेश भूषण ने कहा, ‘अगली चुनौती उन लोगों को दूसरी खुराक लगाना है, जिनकी दूसरी खुराक बाकी है।’ ऐसा लगता है कि टीकों की आपूर्ति की चुनौती दूर हो गई है। भारत में लगाई गई खुराकों में से 90 फीसदी से अधिक की आपूर्ति करने वाली कंपनी सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया के सीईओ अदार पूनावाला ने कहा कि अब देश में तीन से चार सप्ताह का बफर स्टॉक है। उन्होंने कहा, ‘सभी भारतीय टीका विनिर्माता संयुक्त रूप से मौजूदा मांग से थोड़ा ज्यादा उत्पादन कर रहे हैं। आज भारतीय टीका विनिर्माताओं की कुल क्षमता हमारी कुल मांग से अधिक है।’
इंडिगो एयरलाइन देश में कोविड टीकों की सबसे बड़ी ट्रांसपोर्टर बन गई। इसने 4,505 उड़ानों के जरिये देश भर में कोविड के 1,727 टन टीके पहुंचाए। इस तरह इसने देश में अब तक लगी 1 अरब खुराकों में से करीब 68 फीसदी पहुंचाई हैं।
दूसरी खुराक का टीकाकरण ज्यादा अहम भूमिका अदा कर रहा है। भारत के एक अरब के आंकड़े पर पहुंचने के समय इनका हिस्सा 29.3 फीसदी है। जब देश अगस्त में 50 करोड़ खुराकों के आंकड़े पर पहुंचा था, तब कुल खुराकों में दूसरी खुराक का हिस्सा 21.9 फीसदी था। दोनों खुराकों के बीच लंबे अंतर से रफ्तार बढ़ाने में मदद मिल सकती है।
इस मौके पर गुजरात में दोनों खुराक लगवाने वालों को मुफ्त मेडिकल किट और रोपेवे राइड मुहैया कराई गईं। देश में करीब 100 स्मारकों को तिरंगे से जगमगाया गया है। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने भारत के टीकाकरण के सफर पर दो मिनट की शॉर्ट फिल्म पेश की।
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