शॉपिंग मॉल्स में जोर पकड़ रही दुकानों की मांग, मॉल वेकैंसी 6 साल में सबसे कम

मॉल में कुल लीजिंग में सबसे अधिक 36 फीसदी हिस्सेदारी अपैरल और एसेसरीज की है। इसके बाद 22 फीसदी फ़ूड एंड बेवरेज की है।

Published by
रामवीर सिंह गुर्जर   
Last Updated- December 09, 2024 | 2:49 PM IST

Mall Shop Vacancy: मॉल में शॉप की मांग जोर पकड़ रही है। जिससे मॉल वेकैंसी 6 साल में सबसे कम रह गई। कोरोना का असर खत्म होने के बाद मॉल वेकैंसी में काफी गिरावट दर्ज की गई है। कोरोना के असर वाले दोनों साल की तुलना में मॉल वेकैंसी घटकर अब लगभग आधी रह गई है। रिटेलर और ब्रांड मॉल में छोटे स्पेस को प्राथमिकता दे रहे हैं।

मॉल वेकैंसी में कितनी आई कमी?

संपति सलाहकार फर्म एनारॉक की रिपोर्ट के मुताबिक इस साल की पहली छमाही में मॉल वेकैंसी 8.3 फीसदी दर्ज की गए। जो पिछले साल की पूरी वेकैंसी 9 फीसदी से कम है। कोरोना काल में मॉल वेकैंसी काफी बढ़ गई थी। 2020 में यह 15.4 और 2021 में 15.5 फीसदी तक पहुंच गई थी। लेकिन कोरोना का असर खत्म होने के बाद इसमें तेजी से गिरावट आई है। कोरोना के असर वाले दोनों वर्षों की तुलना में अब यह घटकर आधे के करीब आ गई है। रिपोर्ट के अनुसार इस साल की पहली छमाही में देश के प्रमुख शहरों में मॉल में 31 लाख वर्ग फुट जगह लीज पर ली गई है।

ANAROCK ग्रुप के सीईओ और एमडी (रिटेल, इंडस्ट्रियल और लॉजिस्टिक्स) अनुज केजरीवाल कहते हैं कि सीमित आपूर्ति और मजबूत लीजिंग के कारण प्रमुख मॉल में वेकैंसी लगातार घट रही हैं। देश भर में सुपीरियर मॉल लगभग पूरी क्षमता से काम कर रहे हैं। प्रमुख राष्ट्रीय और वैश्विक ब्रांड सफल मॉल और शहरों में हाई स्ट्रीट पर गुणवत्तापूर्ण स्थान लेने के इच्छुक हैं।

रिटेलर और ब्रांड का मॉल में छोटे स्पेस पर जोर

एनारॉक की इस रिपोर्ट के अनुसार खुदरा विक्रेता और ब्रांड छोटी जगहों को प्राथमिकता दे रहे हैं क्योंकि लगभग 70 फीसदी लीजिंग 2,500 वर्ग फुट तक के छोटे स्पेस के लिए हुई है। केजरीवाल कहते हैं फिलहाल छोटे स्पेस की मांग अधिक रही है। लेकिन जैसे-जैसे आने वाले वर्षों में नई आपूर्ति बढ़ेगी, बड़े स्पेस की हिस्सेदारी भी बढ़ सकती है।

अगले 4-5 वर्षों में एनसीआर, एमएमआर और हैदराबाद में आगामी आपूर्ति में सबसे अधिक हिस्सेदारी की योजना बनाई गई है। इन तीनों रीजन का कुल आने वाली आपूर्ति में 85 फीसदी से अधिक योगदान होगा। इनमें सबसे अधिक हिस्सेदारी एनसीआर की होगी। एनारॉक के अनुसार 2024- 2028 अवधि में करीब 4.18 करोड़ वर्ग फुट की आपूर्ति होने की संभावना है। इसमें से करीब 66 फीसदी हिस्सेदारी के साथ 2.76 करोड़ वर्ग फुट आपूर्ति एनसीआर में होने की उम्मीद है।

दिल्ली के साउथ एक्सटेंशन में सबसे अधिक किराया

इस रिपोर्ट के अनुसार प्रमुख हाई स्ट्रीट पर किराया बढ़ रहा है और गुणवत्तापूर्ण नई आपूर्ति जुड़ने तक इसमें वृद्धि जारी रहने की उम्मीद है। सबसे अधिक किराया 800 से 1000 रुपये प्रति वर्ग फुट दिल्ली के साउथ एक्सटेंशन में है। इसके बाद 815 से 920 रुपये वर्ग फुट लिंकिंग रोड़ मुंबई में है। सबसे कम किराया हैदराबाद के jubille हिल्स में 150 से 200 रुपये वर्ग फुट है।

अपैरल की सबसे अधिक, डिपार्टमेंटल स्टोर की सबसे कम हिस्सेदारी

मॉल में कुल लीजिंग में सबसे अधिक 36 फीसदी हिस्सेदारी अपैरल और एसेसरीज की है। इसके बाद 22 फीसदी फ़ूड एंड बेवरेज की है। सबसे कम हिस्सेदारी एक फीसदी डिपार्टमेंटल स्टोर की ही। एंटरटेनमेंट सेंटर की 9 फीसदी, इलेक्ट्रॉनिक एंड एप्लाइंसेस और ज्वेलरी व घड़ियों की हिस्सेदारी 6-6 फीसदी है।

First Published : December 9, 2024 | 1:09 PM IST