नए स्वरूप से निपटने को रहें तैयार

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बीएस संवाददाता
Last Updated- December 11, 2022 | 10:10 PM IST

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज कहा कि महामारी के खिलाफ भारत की तैयारी कोरोनावायरस के किसी स्वरूप के आने से आगे की होनी चाहिए और ओमीक्रोन से लडऩे के अलावा देश को इस वायरस के भविष्य में सामने आने वाले किसी भी स्वरूप से निपटने के लिए भी तैयार रहने की आवश्यकता है। उन्होंने कहा, ‘सैंकड़ों साल में आने वाले सबसे बड़ी महामारी से लड़ते हुए हम तीसरे साल में प्रवेश कर गए हैं। कठिन परिश्रम एकमात्र रास्ता है और जीत ही इसका विकल्प है।’
देश में कोविड महामारी की स्थिति पर राज्यों के मुख्यमंत्रियों के साथ चर्चा के दौरान मोदी ने कहा कि केंद्र और राज्य सरकारों ने पहले जिस तरह से सक्रियता और सामूहिक दृष्टिकोण अपनाया था, इस बार भी जीत का यही मंत्र है। उन्होंने कहा, ‘हमारा सहयोग कोरोना के खिलाफ हमारी लड़ाई को मजबूती देगा। और हम उस पर जीत हासिल करेंगे।’ मोदी ने यह भी कहा कि महामारी को नियंत्रित करने की रणनीति बनाते समय अर्थव्यवस्था और लोगों की आजीविका की रक्षा करना भी महत्त्वपूर्ण है। उन्होंने कहा कि अर्थव्यवस्था की गति बरकरार रहनी चाहिए और राज्यों को स्थानीय स्तर पर संक्रमण रोकने पर ध्यान देना चाहिए।
स्वास्थ्य मंत्रालय के आंकड़ों के अनुसार पिछले 24 घंटे में देश भर में कोरोना संक्रमण के 2.50 लाख नए मामले सामने आए, जो महामारी की मौजूदा लहर में एक दिन में आए सबसे अधिक मामले हैं। दैनिक संक्रमण दर भी बढ़कर 13 फीसदी हो गई है और साप्ताहिक संक्रमण दर 11 फीसदी के करीब पहुंच गई है। मोदी ने कहा कि ओमीक्रोन नई चुनौती है जिसकी वजह से संक्रमण के मामले बढ़ रहे हैं। उन्होंने कहा कि चिकित्सा सुविधाओं और स्वास्थ्यकर्मियों की संख्या में सुधार हुआ है, कोविड महामारी के खिलाफ टीकाकरण सबसे बड़ा हथियार है। उन्होंने राज्यों से ‘हर घर दस्तक’ यानी घर-घर जाकर टीकाकरण अभियान को तेज करने की अपील की और कहा कि अग्रिम मोर्चे पर तैनात कर्मियों और वरिष्ठ नागरिकों को जितना जल्दी एहतियाती खुराक दी जाएगी, भारत का स्वास्थ्य देखभाल तंत्र उतना ही बेहतर तरीके से तैयार होगा। मोदी ने कहा कि करीब 92 फीसदी वयस्कों को कोविड-रोधी टीके की पहली खुराक लग चुकी है और करीब 70 फीसदी को दोनों खुराक दी जा चुकी है।
 

First Published : January 13, 2022 | 11:00 PM IST