Nayara Energy पर यूरोपीय संघ ने पिछले महीने प्रतिबंध लगा दिया था।
रूस समर्थित निजी क्षेत्र की तेलशोधन कंपनी नायरा एनर्जी (Nayara Energy) ने रिफाइंड ईंधन की आवाजाही के लिए जहाज प्राप्त करने के लिए पोत परिवहन मंत्रालय के अधिकारियों से मुलाकात कर सहायता मांगी है। नायरा पर यूरोपीय संघ ने पिछले महीने प्रतिबंध लगा दिया था। प्रतिबंधों से प्रभावित नायरा भारत के पेट्रोल पंपों तक रिफाइंड ईंधन की आपूर्ति करने वाले जहाज पाने के लिए संघर्ष कर रही है। निजी रिफाइनर ने पहले ही अपनी रिफाइनरी में तेलशोधन का काम कम कर दिया है।
यूरोपीय संघ के प्रतिबंधों के चलते रोसनेफ्ट द्वारा समर्थित नायरा एनर्जी की तटीय ईंधन आपूर्ति प्रभावित हुई है और कई जलपोत मालिकों ने कंपनी से संबंध तोड़ लिए हैं। यूरोपीय संघ के प्रतिबंधों से चिंतित जहाज मालिकों ने गुजरात के वडिनार स्थित कंपनी की रिफाइनरी से उत्पादों का उठाव रोक दिया है, जिससे उसकी आपूर्ति श्रृंखला बाधित हो गई है। कंपनी देश के पश्चिमी तट के प्रमुख उपभोग केंद्रों तक पेट्रोल और डीजल जैसे ईंधन पहुंचाने के लिए जलपोतों का इस्तेमाल करती थी।
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यूरोपीय संघ के प्रतिबंधों के बाद नायरा को शिपर्स द्वारा अनुबंधों को समाप्त करने और माइक्रोसॉफ्ट द्वारा महत्त्वपूर्ण सेवाओं को कुछ समय के लिए निलंबित करने की मांग का सामना करना पड़ा है। नायरा के अधिकारियों के साथ बैठक के बाद सूत्र ने बताया कि जहाजरानी, तेल और विदेश मंत्रालय जल्द ही नायरा के अनुरोध पर विचार करने के लिए बैठक करेंगे।
भारत निजी रिफाइनरियों के लिए स्थानीय कंपनियों के भारतीय ध्वज वाले जहाजों की व्यवस्था करने की संभावनाओं पर विचार कर रही है। सूत्र ने आगे बताया कि जहाज मालिक नायरा के लिए यात्रा करने हेतु बीमा कवर प्राप्त करने सहित कई समस्याओं का हवाला दे रहे हैं। नायरा गुजरात के वडिनार में दो करोड़ टन सालाना क्षमता वाली तेल रिफाइनरी संचालित करती है। यह रिफाइनरी पाइपलाइन नेटवर्क से नहीं जुड़ी है।