प्रतीकात्मक तस्वीर | फाइल फोटो
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में आर्थिक मामलों की मंत्रिमंडलीय समिति ने आज महत्त्वपूर्ण बुनियादी ढांचा क्षेत्रों के लिए कई बड़े निवेश प्रस्तावों को मंजूरी दी। इनमें सेमीकंडक्टर इकाइयों के लिए 4,600 करोड़ रुपये, लखनऊ मेट्रो के लिए 5,800 करोड़ रुपये और अरुणाचल प्रदेश में एक जल विद्युत संयंत्र के लिए 8,146 करोड़ रुपये के निवेश प्रस्ताव शामिल हैं।
रेल, सूचना एवं प्रसारण और इलेक्ट्रॉनिक्स एवं सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री अश्विनी वैष्णव ने कहा, ‘केंद्रीय मंत्रिमंडल में आज तीन काफी बड़े निवेश के निर्णय लिए गए हैं, जिनमें सेमीकंडक्टर उद्योग के बुनियादी ढांचे, पनबिजली के जरिये स्वच्छ ऊर्जा को बढ़ावा और लखनऊ मेट्रो रेल लाइन शामिल हैं।’
मंत्रिमंडल ने तीन राज्यों में भारत सेमीकंडक्टर मिशन के तहत 4 सेमीकंडक्टर परियोजनाओं को मंजूरी दी, जबकि 4 स्वीकृत परियोजनाएं पहले से ही विभिन्न चरणों में हैं। जिन चार निवेश प्रस्तावों को मंजूरी दी गई वे सिकसेम, कॉन्टिनेंटल डिवाइस इंडिया (सीडीआईएल), 3डी ग्लास सॉल्यूशंस इंक और एडवांस्ड सिस्टम इन पैकेज (एएसआईपी) टेक्नोलॉजिज के हैं। सिकसेम और 3डी ग्लास की परियोजनाएं ओडिशा में, सीडीआईएल की परियोजना पंजाब में और एएसआईपी की परियोजना आंध्र प्रदेश में स्थापित की जाएगी।
ओडिशा के भुवनेश्वर में सिकसेम द्वारा स्थापित की जाने वाली परियोजना एक कंपाउंड सेमीकंडक्टर फैब्रिकेशन इकाई होगी जहां चिप उत्पादन के अलावा असेंबली, परीक्षण, मार्किंग एवं पैकेजिंग (एटीएमपी) इकाइयां भी होंगी। यह कारखाना हर महीने 60,000 वेफर बनाएगा, जबकि एटीएमपी इकाई की क्षमता 9.6 करोड़ यूनिट प्रति वर्ष होगी। भुवनेश्वर में एक अन्य एटीएमपी इकाई भी स्थापित करने की योजना है, जिस पर 1,943 करोड़ रुपये का निवेश किया जाएगा। इसकी क्षमता सालाना 70,000 ग्लास पैनल और 13,000 3डीएचआई मॉड्यूल तैयार करने की होगी।
मोहाली में कॉन्टिनेंटल डिवाइस इंडिया लिमिटेड (सीडीआईएल) द्वारा स्थापित की जा रही दो अन्य एटीएमपी इकाइयों और आंध्र प्रदेश में स्थापित की जाने वाली एडवांस्ड सिस्टम इन पैकेज टेक्नोलॉजिज के प्रस्ताव को भी केंद्रीय मंत्रिमंडल ने मंजूरी दे दी।
मंत्रिमंडल ने लखनऊ मेट्रो के पहले चरण में 5,801 करोड़ रुपये की लागत से 12 नए स्टेशनों के साथ 11 किलोमीटर के विस्तार को भी मंजूरी दी है। वैष्णव ने कहा कि इस परियोजना (चरण 1बी) का क्रियान्वयन उत्तर प्रदेश मेट्रो रेल कॉर्पोरेशन लिमिटेड (भारत सरकार एवं उत्तर प्रदेश सरकार का संयुक्त उद्यम) द्वारा अगले 5 वर्षों में किया जाएगा। मंत्रिमंडल ने अगले 6 वर्षों में अरुणाचल प्रदेश में 700 मेगावॉट क्षमता की टैटो-2 पनबिजली परियोजना के निर्माण के लिए 8,146 करोड़ रुपये की मंजूरी दी है। इस परियोजना से 273.8 करोड़ यूनिट बिजली का उत्पादन होगा।