अर्थव्यवस्था

CRR में कटौती के बावजूद बैंकिंग सिस्टम में लि​क्विडिटी डेफिसिट 2 लाख करोड़ रुपये के पार

ताजा आंकड़ों के अनुसार, भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने सोमवार को सिस्टम में 2.05 लाख करोड़ रुपये डाले। पिछले सप्ताह दो मौकों पर नकदी की कमी 2 लाख करोड़ रुपये को पार कर गई।

Published by
बीएस वेब टीम   
Last Updated- January 01, 2025 | 9:08 AM IST

बैंकिंग सिस्टम में लि​क्विडिटी डेफिसिट सोमवार को एक बार फिर 2 लाख करोड़ रुपये के पार चली गई। बीते 28 दिसंबर को कैश रिजर्व रेश्यो (CRR) में कटौती की दूसरी किस्त लागू हो गई। इसके बावजूद लि​क्विडिटी की कमी बनी हुई है। ताजा आंकड़ों के अनुसार, भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने सोमवार को सिस्टम में 2.05 लाख करोड़ रुपये डाले। पिछले सप्ताह दो मौकों पर नकदी की कमी 2 लाख करोड़ रुपये को पार कर गई।

जना स्मॉल फाइनेंस बैंक के ट्रेजरी और कैपिटल मार्केट्स हेड गोपाल त्रिपाठी का कहना है, “लि​क्वि​डिटी में कमी की मुख्य वजह तीन वजहें हैं। एडवांस टैक्स आउटफ्लो, त्योहारी खर्च और शायद विदेशी मुद्रा बाजार में अस्थिरता को रोकने के लिए केंद्रीय बैंक का हस्तक्षेप।”

दिसंबर की मौद्रिक नीति समीक्षा में, RBI ने बैंकों के लिए सीआरआर आवश्यकता को 50 बेसिस प्वाइंट से घटाकर नेट डिमांड और टाइम लायबिलिटी का 4 फीसदी तक कर दिया। यह कटौती 14 दिसंबर और 28 दिसंबर से शुरू होने वाले पखवाड़े से 25 आधार अंकों के दो बराबर किस्तों में लागू होगा। सीआरआर में इस कटौती से बैंकिंग प्रणाली में लगभग 1.16 लाख करोड़ रुपये की लि​क्विडिटी जारी हुई।

लि​क्विडिटी घटने की बड़ी वजह

विदेशी मुद्रा बाजार में दखल लि​क्विडिटी में कमी का एक मुख्य कारण है क्योंकि केंद्रीय बैंक भारतीय करेंसी के अवमूल्यन को रोकने के लिए डॉलर बेचता है। दिसंबर में कई कारोबारी सत्रों में रुपया नए निचले स्तर पर पहुंच गया है, मंगलवार को यह 85.61 प्रति डॉलर के नए निचले स्तर पर बंद हुआ।

त्रिपाठी ने कहा, “सैलरी पेमेंट जैसे अन्य इनफ्लो के चलते जनवरी में लि​क्विडिटी की स्थिति में सुधार होने जा रहा है। जनवरी के पहले सप्ताह में नकदी की स्थिति में सुधार होने की संभावना है।”

First Published : January 1, 2025 | 9:08 AM IST