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एडटेक दिग्गज बायजू द्वारा समय पर अपनी आय की जानकारी नहीं देने के कारण कंपनी ने अपना ऑडिटर खो दिया है। अब निवेशकों का विश्वास बनाए रखने के लिए कंपनी ने निवेशकों से कहा है कि वह वर्ष 2022 में हुई आय की जानकारी सितंबर तक फाइल करेगी और वर्ष 2023 के नतीजों की घोषणा दिसंबर तक करेगी। समाचार एजेंसी रॉयटर्स की एक रिपोर्ट में यह जानकारी दी गई।
इससे पहले गुरुवार को डेलॉइट ने एक बयान में बताया कि वह मार्च 2022 को समाप्त वर्ष के लिए अपने “लंबे समय से विलंबित” वित्तीय विवरणों को लेकर भारत के सबसे सफल स्टार्टअप में से एक, बायजू के साथ संबंध तोड़ रहा है।
बोर्ड के कुछ सदस्यों ने अचानक से बिना कोई कारण बताए किनारा कर लिया। इनमें पीक 15 पार्टनर्स का प्रतिनिधित्व करने वाले निवेशक (जिन्हें पहले सिकोइया कैपिटल इंडिया के नाम से जाना जाता था) प्रोसस और चैन जुकरबर्ग इनिशिएटिव के नाम शामिल है।
22 अरब डॉलर की मार्केट कैपिटल और निवेशक जनरल अटलांटिक जैसे दिग्गजों द्वारा समर्थित एडटेक कंपनी बायजू के लिए ये ये इस्तीफे सबसे बड़े संकटों में से एक है। यह प्रकरण एडटेक फर्म के कॉर्पोरेट प्रशासन के बारे में सवाल उठाता है और विदेशी मुद्रा कानूनों के संदिग्ध उल्लंघन पर छापे के कुछ सप्ताह बाद सामने आया है।
रॉयटर्स की रिपोर्ट के मुताबिक, संस्थापक बायजू रवींद्रन और मुख्य वित्तीय अधिकारी अजय गोयल सहित बायजू के नेतृत्व ने शनिवार को कंपनी के वित्तीय मामलों के बारे में चिंताओं को दूर करने के लिए लगभग 75 शेयरधारकों को जानकारी दी।
गोयल ने निवेशकों से कहा कि बायजू सितंबर तक भारतीय नियामकों को वर्ष 2021-22 के ऑडिटेड नतीजे और साल के अंत तक 2022-23 की कमाई की जानकारी सौंप देगी।
बायजू ने रविवार को टिप्पणी करने से इनकार कर दिया। इसने इस पर कोई टिप्पणी नहीं की है कि इसके नतीजों में देरी क्यों हुई है।
डेलॉयट ने 2025 में समाप्त होने वाले ऑडिटर के कार्यकाल को छोटा करते हुए अपने इस्तीफे में कहा कि कंपनी की ऑडिट करने की क्षमता पर “महत्वपूर्ण प्रभाव” पड़ा क्योंकि कई रिमाइंडर के बावजूद उसे बायजू से वित्तीय रिकॉर्ड प्राप्त नहीं हुए। बायजू ने BDO को अपना नया ऑडिटर नियुक्त किया है।