Assembly Elections 2024: महाराष्ट्र विधान सभा की 288 और झारखंड की 81 में से दूसरे चरण की 38 सीटों के लिए बुधवार को वोट डाले जाएंगे। चुनाव परिणाम 23 नवंबर शनिवार को आएगा। इस बीच, सोमवार से संसद का शीतकालीन सत्र शुरू हो रहा है, जिसकी दिशा चुनावी नतीजे तय करेंगे। संसद सत्र 20 दिसंबर तक चलेगा।
दोनों ही राज्यों में अपने-अपने वैचारिक एजेंडे के साथ-साथ दोनों प्रमुख प्रतिद्वंद्वी गठबंधनों ने मतदाताओं को अपने पाले में करने के लिए लोकलुभावन घोषणाओं के साथ महिलाओं, किसानों और बेरोजगार के लिए तमाम कल्याणकारी योजनाओं का ऐलान किया है।
झारखंड में महिलाओं के हाथ चुनावी कमान
झारखंड में पहले चरण के लिए मतदान 13 नवंबर को हुआ था। उस चरण में महिला मतदाताओं ने बढ़-चढ़ कर हिस्सा लिया और उनका वोट प्रतिशत पुरुषों से अधिक दर्ज किया गया।
निर्वाचन आयोग के मुताबिक झारखंड में पहले चरण के लिए हुए मतदान में 66.65 प्रतिशत वोट पड़े, जो पांच साल पहले हुए चुनाव से 2.75 प्रतिशत अधिक हैं। इस चरण में जहां 64.27 प्रतिशत पुरुषों ने मतदान किया, वहीं महिला मतदाताओं का वोट प्रतिशत 69.04 रहा। झारखंड में 2014 और 2019 के विधान सभा चुनावों में महिला मतदाताओं ने पुरुषों से अधिक मतदान किया था।
झामुमो और कांग्रेस के गठबंधन को पूरी उम्मीद है कि महिलाओं के लिए प्रति माह 1,000 रुपये देने वाली योजना के कारण राज्य के लोग उसे दोबारा सत्ता सौंपेंगे। भाजपा नीत गठबंधन से घुसपैठ को अपने चुनावी अभियान का प्रमुख मुद्दा बनाया है। जयराम महतो के नेतृत्व वाली झारखंड लोकतांत्रिक क्रांतिकारी मोर्चा जैसे छोटे दल भी अपनी उपस्थिति दर्ज कराने के लिए जी-तोड़ मेहनत कर रहे हैं।
महाराष्ट्र में बेहतर प्रदर्शन की चुनौती
महाराष्ट्र में विपक्षी गठबंधन महा विकास आघाडी को आशा है कि विधान सभा चुनाव में वह इसी साल हुए लोक सभा चुनाव से बेहतर प्रदर्शन करेगा, जहां उसने राज्य की 48 में से 30 सीटों पर जीत दर्ज की थी। सत्ताधारी महायुति को केवल17 सीट ही हासिल हुई थीं।
विधान सभा चुनाव में आघाडी गठबंधन ने चुनाव अभियान के दौरान किसानों की समस्याओं, जाति जनगणना के साथ-साथ प्रमुख परियोजनाओं के महाराष्ट्र से गुजरात चले जाने जैसे मुद्दे प्रमुखता से उठाए हैं। वहीं सत्ताधारी महायुति गठबंधन को उम्मीद है कि महिलाओं के लिए माझी लाडकी बहिन योजना के सहारे उसे दोबारा सत्ता मिलेगी।
राज्य में भाजपा 149 सीटों पर चुनाव लड़ रही है। शिवसेना (शिंदे गुट) 81 और अजित पवार की राकांपा ने 59 सीटों पर उम्मीदवार उतारे हैं। दूसरी ओर आघाडी गठबंधन में शामिल कांग्रेस ने 101 प्रत्याशी खड़े किए हैं, जबकि शिवसेना (उद्धव) ने 95 और शरद पवार की राकांपा ने 86 उम्मीदवार मैदान में उतारे हैं।
महाराष्ट्र : उम्मीदवारों की औसत संपत्ति
महाराष्ट्र में विधान सभा चुनाव लड़ने वाले उम्मीदवारों की औसत संपत्ति 9.11 करोड़ रुपये है। पिछले चुनाव में यह 4.21 करोड़ रुपये थी। जहां तक राजनीतिक दलों का सवाल है तो भाजपा के 149 प्रत्याशियों की औसत संपत्ति 53.98 करोड़ रुपये है, जबकि शिवसेना (शिंदे) के 81 उम्मीदवारों के पास कुल औसत संपत्ति 29.02 करोड़ रुपये है। इसी प्रकार कांग्रेस के 101 प्रत्याशियों के पास औसत संपत्ति 25.29 करोड़ रुपये तथा शरद पवार की राकांपा के 84 उम्मीदवारों के पास औसतन 24.54 करोड़ रुपये की संपत्ति है।
झारखंड: उम्मीदवारों की औसत संपत्ति
झारखंड विधान सभा चुनाव लड़ने वाले सभी उम्मीदवारों की औसत संपत्ति 2.32 करोड़ रुपये है। पिछले विधान सभा चुनाव में यह 1.24 करोड़ रुपये थी।