अजय डाटा (मैनेजिंग डायरेक्टर, डेटा ग्रुप ऑफ इंडस्ट्रीज), सुबोध अग्रवाल (IAS, राजस्थान फाइनेंशियल कॉरपोरेशन) और दिग्विजय धाबड़िया (चैयरमैन, PHDCCI राजस्थान चैप्टर) बिज़नेस स्टैंडर्ड के राजस्थान समृद्धि 2025 कार्यक्रम में।
जयपुर में बुधवार को बिज़नेस स्टैंडर्ड के समृद्धि राजस्थान 2025 कार्यक्रम में उद्योग जगत के लीडर्स ने राजस्थान में बिजनेस को मजबूत बनाने और निवेश आकर्षित करने पर जोर दिया। कार्यक्रम में “इन्वेस्ट राजस्थान: आर्थिक रोडमैप” विषय पर पैनल चर्चा में PHDCCI (राजस्थान चैप्टर) के चेयरमैन दिग्विजय धाबड़िया ने कहा कि राजस्थान को निवेशकों के लिए बिजनेस करना आसान और सस्ता बनाना होगा। उन्होंने बताया कि भारत की लॉजिस्टिक्स लागत दुनिया के मुकाबले बहुत अधिक है। भारत में लॉजिस्टिक्स की लागत लगभग 13-16 प्रतिशत है, जबकि चीन में यह 4-6 प्रतिशत के बीच है। अगर लॉजिस्टिक्स बेहतर होगा तो हमारी अर्थव्यवस्था मजबूत होगी।
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धाबड़िया ने यह भी कहा कि कुशल और अकुशल श्रमिकों की उपलब्धता बेहतर होनी चाहिए। उन्होंने पिछले 20 सालों में सैटेलाइट टाउन बनाने के वादों को पूरा नहीं किए जाने पर चिंता जताई।
उन्होंने कहा कि अन्य राज्यों में निवेश करने में अनिश्चितता होती है। हम कोलकाता में विस्तार करने की योजना बना रहे थे, लेकिन वहां जनसंख्या बदल रही है और असुरक्षा है। इसलिए राजस्थान निवेश के लिए सुरक्षित विकल्प है। यहां बहुत अवसर हैं।
धाबड़िया ने चीन, दुबई और सिंगापुर जैसी नीतियों को अपनाने की जरूरत बताई और कहा कि राजस्थान में निवेश के लिए सबसे अच्छा समय है। उन्होंने जमीन की उपलब्धता को भी महत्वपूर्ण बताया। नई नीति के तहत अब खरीदी गई जमीन को उद्योग के लिए बदला जा सकता है, जो निवेशकों के लिए आसान है।
डेटा ग्रुप ऑफ इंडस्ट्रीज के एमडी अजय डाटा ने कहा कि राजस्थान को भविष्य की अर्थव्यवस्था के लिए तैयार होना चाहिए। अगर राजस्थान AI का केंद्र बनना चाहता है, तो सही साझेदारी, सरकार का समर्थन, पूंजी और तकनीकी आधारभूत संरचना जरूरी है।
उन्होंने स्टार्टअप्स के महत्व को बताया और कहा कि अगर राजस्थान में स्टार्टअप की संख्या 5,000 से बढ़ाकर 50,000 कर दी जाए तो 500,000 लोगों को रोजगार मिलेगा। साथ ही राजस्थान इलेक्ट्रिक व्हीकल (EV) क्षेत्र में भी अवसर पा सकता है।
राजस्थान फाइनेंशियल कॉर्पोरेशन के सुबोध अग्रवाल ने कहा कि राजस्थान निवेशकों को जो मूल्य देता है, वही इसकी ताकत है। उन्होंने राज्य के प्राकृतिक संसाधनों और खनन में आसान बिजनेस करने की जरूरत पर जोर दिया। जैसलमेर में सीमेंट ग्रेड का चूना है। अगले 10 साल में जैसलमेर भारत का सीमेंट कैपिटल बन सकता है।
उन्होंने कहा कि राजस्थान की ताकत इसके तेल, सोलर और बीकानेर में पोटाश जैसे प्राकृतिक संसाधनों में है। साथ ही स्टार्टअप्स अक्सर अन्य राज्यों में चले जाते हैं क्योंकि वहां उन्हें बेहतर वैल्यू मिलती है।