वॉलमार्ट के स्वामित्व वाली डिजिटल पेमेंट फर्म फोनपे देसी मोबाइल प्लेटफॉर्म इंडस ओएस का अधिग्रहण 6 करोड़ डॉलर के नकद सौदे में करने की प्रक्रिया में है। सूत्रों ने यह जानकारी दी। सूत्रों ने कहा कि इस अधिग्रहण से फोनपे को अपने सुपर ऐप व क्षेत्रीय भाषा की रणनीति को अपने प्लेटफॉर्म पर विभिन्न ऐप के साथ एकीकृत करने की रणनीति में मदद मिलेगी। इस कदम से फोनपे को अलीबाबा के समर्थन वाली पेटीएम, गूगल पे और एमजेॉन पे से मुकाबला करने में मदद मिलेगी, जो ऐसी ही क्षमता विकसित कर रही हैं।
सूत्र ने कहा, फोनपे और इंडस ओएस के बीच बातचीत जारी है और यह सौदा जल्द पूरा हो सकता है। इस बारे में पूछे जाने पर फोनपे ने कोई जवाब नहींं दिया।
इंडस ओएस का गठन आईआईटी के तीन लोग राकेश देशमुख, आकाश डोंगरे और सुधीर बी ने साल 2015 में किया था। यह देश में विकसित ऐप कंटेंट-डिस्कवरी प्लेटफॉर्म है, जो स्मार्टफोन का इस्तेमाल करने वालों को अपनी पसंद की भाषा में ऐप व कंटेंट के इस्तेमाल में मदद करता है। कंपनी एंड्रायड ऐप स्टोर का परिचालन करती है, जो इंडस ऐप बाजार के नाम से जाना जाता है। इसे स्मार्टफोन निर्माता सैमसंग की वेंचर कैपिटल इकाई का समर्थन हासिल है।
दुनिया के सबसे बड़े देसी ऐप स्टोर चलाने वाली इंडस ओएस के 1.1 अरब से ज्यादा ऐप इंस्टॉल हो चुके हैं। इस अधिग्रहण से फोनपे को इंडस ओएस के 10 करोड़ यूजर्स और विभिन्न श्रेणियों के 4 लाख ऐप तक पहुंचने में मदद मिलेगी। यह प्लेटफॉर्म करीब 13 भाषाओं में उपलब्ध है।
आईओसी का लाभ 8,781 करोड़ रु.
देश की सबसे बड़ी तेल कंपनी इंडियन ऑयल कॉरपोरेशन (आईओसी) का शुद्ध लाभ जनवरी-मार्च तिमाही में 8,781.30 करोड़ रुपये रहा। रिफाइनिंग मार्जिन बढऩे से कंपनी का लाभ बढ़ा है। कंपनी ने एक्सचेंजों को दी सूचना में कहा कि जनवरी-मार्च तिमाही में एकल आधार पर उसका शुद्ध लाभ 8,781.30 करोड़ रुपये रहा। एक साल पहले 2019-20 की इसी तिमाही में कंपनी को 5,185.32 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ था।
चौथी तिमाही के दौरान आईओसी की परिचालन आय 1.63 लाख करोड़ रुपये रही, जो एक साल पहले की समान अवधि में 1.39 लाख करोड़ रुपये रही थी। कंपनी ने 2020-21 की चौथी तिमाही में 2.12 करोड़ टन पेट्रोलियम उत्पाद बेचे, जो एक साल पहले 2019-20 की इसी तिमाही में 2.069 करोड़ टन था। भाषा