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अमेरिका में बच्चों की ऑनलाइन सुरक्षा को लेकर टेक कंपनियों के बीच जोरदार खींचतान चल रही है। कई राज्यों में ऐसे कानून बनाए जा रहे हैं जो कंपनियों को यूज़र्स की उम्र की जांच करने के लिए बाध्य करते हैं। इससे Meta, Apple और Google आमने-सामने आ गए हैं।
मुद्दा यह है कि बच्चों की उम्र की जांच और ऑनलाइन सुरक्षा की जिम्मेदारी किस पर होनी चाहिए—ऐप डेवलपर्स पर या ऐप स्टोर कंपनियों पर। Meta का कहना है कि जैसे शराब की दुकान ग्राहक की उम्र जांचती है, वैसे ही ऐप स्टोर को भी यह जिम्मेदारी निभानी चाहिए। वहीं Apple और Google मानते हैं कि ऐप्स ही अपने यूज़र्स की उम्र बेहतर तरीके से जांच सकते हैं और ये कानून बच्चों की प्राइवेसी को नुकसान पहुंचा सकते हैं।
2025 में अब तक यूटा, टेक्सस और लुइसियाना जैसे राज्यों ने ऐसे कानून पास किए हैं जो टेक कंपनियों को यूज़र्स की उम्र की पुष्टि करने, 18 साल से कम उम्र के लोगों के लिए माता-पिता की अनुमति लेने और हानिकारक कंटेंट से बच्चों को बचाने के लिए बाध्य करते हैं। अब साउथ कैरोलिना और ओहायो में भी इसी तरह के कानूनों पर विचार हो रहा है।
Meta इन कानूनों के पक्ष में है जो ऐप स्टोर पर जिम्मेदारी डालते हैं। कंपनी का कहना है कि ज्यादातर माता-पिता एक ही जगह से अपने बच्चों की ऑनलाइन गतिविधियों पर नजर रखना चाहते हैं और ऐप स्टोर यह जिम्मेदारी बेहतर निभा सकते हैं। Meta ने अब तक 20 राज्यों में ऐसे प्रस्तावों का समर्थन किया है और एक संघीय कानून का भी समर्थन कर रही है जिसे सीनेटर माइक ली लेकर आए हैं।
Apple और Google का कहना है कि Meta खुद की जिम्मेदारी से बचना चाहता है और ये कानून बच्चों की निजता को खतरे में डालते हैं। इन दोनों कंपनियों ने राज्यों में दर्जनों लॉबिस्ट तैनात किए हैं जो यह तर्क दे रहे हैं कि Meta बच्चों की सुरक्षा की जिम्मेदारी दूसरों पर डाल रहा है।
Meta ने पिछले साल ‘चेंबर ऑफ प्रोग्रेस’ नामक संगठन छोड़ दिया, जिसमें Apple और Google शामिल हैं। अब यह संगठन सभी उम्र सत्यापन कानूनों का विरोध कर रहा है। इसके अलावा Meta, Spotify और Match Group के साथ मिलकर एक नया गठबंधन भी बना चुका है जो Apple और Google के खिलाफ लॉबिंग कर रहा है।
Meta ने हाल ही में किशोरों के लिए आत्महत्या, आत्महानि और खानपान विकारों जैसे संवेदनशील विषयों को दिखाने पर रोक लगाने के उपाय किए हैं। Apple ने ‘Child Accounts’ जैसे फीचर्स लॉन्च किए हैं जिससे माता-पिता को बच्चों की ऑनलाइन गतिविधियों पर नियंत्रण मिल सके। कंपनी जल्द एक नया फीचर लाने वाली है जिससे माता-पिता ऐप्स को बच्चों की उम्र की जानकारी सीमित रूप में दे सकेंगे।
Meta ने एक कंज़र्वेटिव समूह ‘Digital Childhood Alliance’ के साथ मिलकर नए कानूनों को बढ़ावा देने की कोशिश की है। दूसरी तरफ, Apple समर्थित ‘App Association’ नामक संगठन ने कुछ राज्यों में विज्ञापन चलाए हैं जिनमें दावा किया गया है कि ये बिल पोर्न वेबसाइट्स का समर्थन करते हैं। हालांकि, वयस्क मनोरंजन उद्योग ने इससे इनकार किया है।
साउथ कैरोलिना और ओहायो में दो अलग-अलग किस्म के प्रस्ताव चल रहे हैं—कुछ ऐप स्टोर्स पर जिम्मेदारी डालते हैं तो कुछ ऐप डेवलपर्स पर। इसका नतीजा ऐसा कानून भी हो सकता है जो किसी को पसंद न आए।