राज्य सरकारों की उधारी की लागत पर भू-राजनीतिक तनावों का असर नजर आ रहा है। राज्यों की उधारी महंगी हो गई है और इस सप्ताह राज्य विकास ऋण (एसडीएल) का कट-ऑफ पिछले सप्ताह की नीलामी की तुलना में 19 आधार अंक बढ़ा है।
सकल एसडीएल इश्युएंस का भारित औसत कट-ऑफ 19 आधार अंक बढ़कर आज 7.29 प्रतिशत हो गया, जो पिछली नीलामी में 7.10 प्रतिशत था। रेटिंग एजेंसी इक्रा ने कहा कि एसडीएल की भारित औसत अवधि 13 साल से बढ़कर 16 साल हो गई है।
बैंक आफ बड़ौदा के मुख्य अर्थशास्त्री मदन सबनवीस ने कहा कि आज का एसडीएल प्रतिफल दिखाता है कि न सिर्फ कट-ऑफ बढ़ा है,बल्कि जीसेक पर स्पे्रड भी बढ़ा है। इससे राज्यों की उधारी की लागत बढ़ गई है, जिन्हें अभी अपनी उधारी योजना पूरी करनी है, जबकि इसके विपरीत केंद्र की अब आगे बाजार उधारी की कोई योजना नहीं है।
भू-राजनीतिक तनावों के असर से कच्चे तेल के दाम बहुत तेजी से बढ़े हैं और इसके असर से 10 साल का भारत सरकार का बॉन्ड (जीसेक, 6.54 प्रतिशत जीएस 2032) आज 6.89 पर बंद हुआ, जो पिछले सोमवार की बंदी 6.77 प्रतिशत की तुलना में 12 आधार अंक ज्यादा है।
सात राज्य सरकारों व एक केंद्र शासित प्रदेश ने अब तक एसडीएल के माध्यम से 16,900 करोड़ रुपये जुटाए हैं।