ई-कॉमर्स कंपनी एमेजॉन 10 हजार नहीं बल्कि इससे दोगुना यानी 20 हजार लोगों की छंटनी करेगी। बीते नवंबर महीने में न्यूयॉर्क टाइम्स की एक रिपोर्ट में ये सामने आया था कि एमेजॉन दुनिया भर में 10,000 कर्मचारियों की छंटनी करेगी। लेकिन हाल ही में आई Computerworld की रिपोर्ट में इस संख्या को दोगुना कर दिया गया है।
Computerworld की इस रिपोर्ट के अनुसार एमेजॉन दुनिया भर में 20 हजार लोगों की छंटनी कर सकती है। इस छंटनी से कंपनी में ग्रेड 1 से लेकर ग्रेड 7 तक के कर्मचारी प्रभावित होंगे. यानी कि हाई लेवर पर भी इस छंटनी का असर पड़ सकता है।
गौरतलब है कि बीते महीने आई रिपो्र्ट के अनुसार, कंपनी ने नई नियुक्तियों पर पूरी तरह से रोक लगा दी है और सभी कारोबारी क्षेत्रों में यात्रा रोक दी गई है। सूत्रों ने कहा था कि भारत, जहां तकरीबन 1,00,000 कर्मचारी हैं, में लगभग 10,000 स्थायी कर्मचारी हैं। इस हालात से वाकिफ लोगों ने कहा कि भारत में इस छंटनी का अधिकतम प्रभाव खुदरा कारोबार में होगा।
इस घटनाक्रम के जानकार सूत्रों ने यह भी कहा कि यह कवायद जनवरी तक पूरी होगी, जो एमेजॉन में एप्रेजल का वक्त होता है। एक अन्य सूत्र ने कहा ‘वे यह सुनिश्चित करना चाहते हैं कि एप्रेजल से पहले कर्मचारियों की संख्या में स्थिरता आ जाए।’ सूत्र ने यह भी कहा कि फिलहाल काम पर रखने पर पूरी तरह से रोक लगी हुई है, यहां तक कि जहां पहले से ही काम पर रखे जाने की आवश्यकता है, वहां भी नहीं रखा जा रहा है।
वहीं छंटनी की खबर आने के बाद केंद्रीय श्रम मंत्रालय ने जबरन छंटनी को लेकर एमेजॉन इंडिया को तलब किया। एमेजॉन में हुई कर्मचारियों की छंटनी को लेकर कंपनी ने श्रम मंत्रालय को सफाई पेश की है। Amazon India के मुताबिक कंपनी ने किसी कर्मचारी को बर्खास्त नहीं किया है, जितने भी इस्तीफे हुए हैं वो सभी स्वैच्छिक हैं। ईटी की खबर के अनुसार, एमेजॉन में हुई बड़ी संख्या में छंटनी को लेकर श्रम मंत्रालय द्वारा तलब किए जाने के बाद कंपनी ने ये जवाब दिया है।
बता दें, केंद्रीय श्रम मंत्रालय ने छंटनी को लेकर एमेजॉन इंडिया को तलब किया था। मंत्रालय ने कंपनी को बेंगलुरु में उप मुख्य श्रम आयुक्त के समक्ष पेश होने के लिए कहा था। जहां पर कंपनी ने मंत्रालय को ये जवाब दिया है। श्रम मंत्रालय ने पुणे के एक कर्मचारी संगठन-Nascent Information Technology Employees Senate (NITES) द्वारा एमेजॉन के खिलाफ दायर शिकायत के बाद कंपनी को तलब किया। कंपनी ने बताया कि वह हर साल अपने कर्मचारियों की समीक्षा करती है इस बात की जांच करती है कि क्या उन्हें फिर से व्यवस्थित करने की जरूरत है।
कंपनी ने बताया कि सभी वर्कर्स री-अलाइनमेंट स्कीम (realignment scheme) को स्वीकार करने या अस्वीकार करने के लिए स्वतंत्र थे। यदि वे योजना को स्वीकार करते हैं, तो उन्हें “उचित विच्छेद पैकेज” (fair severance package) मिलेगा। कंपनी ने आगे कहा कि किसी भी कर्मचारी को नौकरी छोड़ने के लिए नहीं कहा गया था, बल्कि उन्हें अपने हिसाब से फैसला लेने की सलाह दी गई थी।
कंपनी ने मई में दावा किया था कि उसने भारत में 11.6 लाख प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष नौकरियां सृजित की हैं। 2025 तक, इसने देश में 2 करोड़ नौकरियां देने का संकल्प लिया है। हाल ही में, कंपनी ने वैश्विक स्तर पर 10,000 कर्मचारियों की छंटनी की जो इसके कुल कार्यबल का 3 प्रतिशत तक है। 18 नवंबर को, एमेजॉन के सीईओ एंडी जेसी ने ये भी कहा कि साल 2023 की शुरुआत तक कंपनी में छंटनी की प्रक्रिया जारी रहेगी।