इक्विटी बाजार का कारोबार, जिसमें नकदी और डेरिवेटिव दोनों शामिल हैं, सितंबर में अभूतपूर्व स्तर पर पहुंच गया क्योंकि बढ़ती अस्थिरता ने निवेशकों के लिए उपजाऊ कारोबारी जमीन तैयार कर दी।
नैशनल स्टॉक एक्सचेंज (एनएसई) और बीएसई दोनों को मिलाकर नकदी खंड में दैनिक कारोबार की औसत मात्रा (एडीटीवी) 89,747 करोड़ रुपये रही। यह फरवरी 2021 में दर्ज 88,621 करोड़ रुपये के पिछले शीर्ष स्तर को पार कर गया।
इस बीच डेरिवेटिव खंड में एडीटीवी ने लगातार 11वें महीने बढ़त की अपनी राह जारी रखी तथा एनएसई और बीएसई दोनों में संयुक्त रूप से 357.7 लाख करोड़ रुपये का नया सर्वकालिक शीर्ष स्तर हासिल कर लिया। इसने पिछले महीने के मुकाबले 14 प्रतिशत की वृद्धि और पिछले साल की तुलना में दो गुनी वृद्धि हासिल की।
बीएसई का डेरिवेटिव खंड पिछले महीने के मुकाबले उल्लेखनीय रूप से तीन गुना बढ़कर 26.4 लाख करोड़ रुपये तक पहुंच गया। इसने 7.3 प्रतिशत बाजार हिस्सेदारी हासिल की। नकदी खंड में बीएसई की बाजार हिस्सेदारी 6.92 प्रतिशत रही।
सितंबर में बेंचमार्क एनएसई निफ्टी 50 में 967 अंक की तेजी आई, जो 4.8 प्रतिशत के बराबर थी। यह छह महीने में सबसे महत्वपूर्ण उतार-चढ़ाव रहा। कुछ उतार-चढ़ाव का अनुभव करने से पहले सूचकांक 15 सितंबर को 20,192 के सर्वकालिक शीर्ष स्तर पर पहुंच गया।
एसऐंडपी बीएसई सेंसेक्स भी महीने के पहले 11 कारोबारी सत्रों तक हरे निशान में समापन करने के बाद 67,839 की रिकॉर्ड ऊंचाई पर पहुंच गया। इसके अलावा निफ्टी मिडकैप 100 और निफ्टी स्मॉलकैप 100 सहित व्यापक बाजार नई ऊंचाई पर पहुंच गए। विशेषज्ञों ने कारोबारी वॉल्यूम में वृद्धि के लिए बाजार की अच्छी स्थितियों और आरंभिक सार्वजनिक निर्गमों में उछाल को खास तौर पर जिम्मेदार माना।